कांग्रेस शासित नाथद्वारा नगरपालिका बोर्ड ने अपने कार्यकाल के अंतिम बजट किया पेश

कांग्रेस शासित नाथद्वारा नगरपालिका बोर्ड ने अपने कार्यकाल के अंतिम बजट किया पेश
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राजस्थान, राजसमंद, दर्पण पालीवाल  नाथद्वारा। नगर पालिका मंडल नाथद्वारा की बजट बैठक एजेंडा अनुसार पालिका की वित्तीय वर्ष 2024-25 के नगर पालिका नाथद्वारा बोर्ड बैठक रखी जिसमें 286 करोड़ 70 लाख 66 हजार का बजट पेश किया गया बजट अनुमान चर्चा के लिए रविवार को सुखड़िया नगर स्थित 
पालिका सभागार में सुबह 11 बजे आयोजित की गई । बैठक में भाग लेने नवनिर्वाचित विधायक विश्वराजसिंह मेवाड़ भी पहली बार पहुंचे। पालिका अध्यक्ष मनीष राठी ने विधायक का का उपरणा ओढ़ाकर स्वागत किया। नगर पालिका उपाध्याय श्यामलाल गुर्जर उनके पुत्र ऋषभ गुर्जर की शादी की तैयारियों में व्यस्त होने के कारण बैठक में भाग लेने के लिये नही आ पाए। 
अध्यक्ष ने एजेंडे के अनुसार विधिवत बैठक शुरू करने की घोषणा की। 
 वरिष्ठ पार्षद विनोद  उपाध्याय बजट बैठक शुरू होने से पहले  विपक्ष की तरफ से कहा कि 5 साल हो गए, पहले हमारी पीड़ा सुने, फिर बजट पर चर्चा करें। इस पर सत्ताधारी पार्षद प्रमोद गुर्जर ने कहा बजट हमारे लिए जरूरी है, पार्षद संख्या बल हमारा ज्यादा है, बजट पढ़ना शुरू करे। गुर्जर बोले चेयरमैन का अपमान नही सहन कर सकते है। बुजुर्ग पार्षद ललिता काबरा ने कहा पहले ये बताओ 5 साल में वार्डों में क्या क्या काम हुआ है। बजट बैठक शुरू होने से पहले ही हंगामे की भेंट चढ़ने लगी। विपक्ष के पार्षद विनोद उपाध्याय ने कहा कि आप को सौगन्ध है, साथ साथ मे आप को हमारी पीड़ा भी सुन्नी चाहिए। इस पर विधायक ने कहा कि सभी के मन की बात को सुना जाएगा। इसके बाद पालिका अधिकारी अकाउंट किशन लाल  यादव ने बजट पड़ना शुरू किया। 

बजट अनुमान वर्ष 2024-25 एवं संसोधित अनुमानित वर्ष 2023-24 से सम्बंधित नवीन  प्रस्तावों तथा कार्य योजनाओं पर चर्चा कर सर्व सहमति से अनुमोदन किया गया। बजट को लेकर सत्ता पक्ष के साथ-साथ विपक्ष भी काफी हद तक संतुष्ट नजर आया। 

प्रतिपक्ष नेता प्रदीप काबरा ने समय पर बैठक नहीं होने का मुद्दा उठाया और कहा कि बैठक नहीं होने से राजस्व को नुकसान हो रहा है तथा पार्षद अपने वार्डों की छोटी-छोटी समस्या भी नहीं उठा पा रहे हैं। निर्दलीय पार्षद परेश सोनी ने कहा कि 20 मीटर तक गौरव पथ और 120 फीट पर व्यावसायिक क्षेत्र घोषित हुआ है, तो शहर में क्यों नहीं हो सकता है, शहर में आवासीय भूमि  पर व्यावसायिक होटले चल रही है। इस पर आयुक्त बोले की शहर की सकरी गलियों में होटल बन गई है, उन्हें व्यवसाय की अनुमति नहीं दी जा सकती। निर्दलीय पार्षद परेश सोनी ने कहा कि इन होटल में जब कभी हादसे होते हैं ,तब भी तो नगर पालिका को ही जिम्मेदार ठहराया जाता है।
 आयुक्त ने जवाब देते हुए कहा कि होटल में लगे फायर उपकरणों की जांच करवाई जाएगी और इस संबंध में होटल व्यवसाईयों से चर्चा कर सदन में रिपोर्ट पेश करेंगे । महिला पार्षद उज्ज्वल लावटी ने  होम स्टे का लाइसेंस देने का सुझाव दिया। पार्षद विश्वास प्रजापत ने कहा कि होटल वाले सड़कों पर ही मोहल्ला में कारों की अवैध पार्किंग करवा देते हैं , जिस मोहल्ले वासियों और पर्यटकों में कई बार लड़ाई झगड़ा और तनाव उत्पन्न होते हैं । विधायक ने लावटी के होम स्टे वाले सुझाव को बेहतर बताते हुए इस बारे में विचार करने की बात कही।

निर्दलीय पार्षद परेश सोनी ने कहा कि 90ए की फाइले, है जहां पेंडिंग है, उनको क्लियर करवाया जाना चाहिए, जो कार्य नहीं करते हैं उन कर्मचारियों को हटाया जाना चाहिए, नगर पालिका में 90ए की फाइल को स्वीकृत करने  लोग नगर पालिका में चक्कर लगा रहे हैं, नगर पालिका में  क्लियर करवाने वाले 50 दलाल पैदा हो गए हैं, फाइलें क्लियर नहीं होने से राजस्व का नुकसान हो रहा है, पैसा अधिकारी जनरेट नहीं कर रहे हैं, पैसा नहीं होने से जनता के वार्डों में छोटे-छोटे काम नहीं हो पा रहे हैं, लोग सत्ता विपक्ष और निर्दलीयों को बुरा भला बोल रहे हैं । 
विधायक विश्वराज सिंह ने पार्षदों की चर्चाओं को कहा कि अधिकारी अपने घर जेसे इस शहर को संभाले । शहर की भलाई के लिए सोचें । निगम की बहुत शिकायतें आ रही है, आमजन की छोटी-छोटी समस्याओं का मौके पर ही निस्तारण कर दिया जाए तो समस्याएं को काफी हद तक हल किया जा सकता है । जमीनों को लेकर सबसे ज्यादा समस्याएं सुनने को मिल रही है, निगम के पास कितनी जमीन है, कितनी जमीन पर अतिक्रमण हो गया है, तो हटाने की क्या कार्रवाई हो सकती है। अगर नगर पालिका द्वारा किसी कार्य के लिए किसी को जमीन दी गई है और वहां पर वह कार्य नहीं हो रहा है तो वह जमीन वापस लेने पर विचार । इसके साथ ही नगर को स्वच्छता मैं बेहतर बनाने के प्रयास किए जाएं।
आयुक्त आरके मेहता ने कहा कि जयपुर की तर्ज पर नाथद्वारा में वेंडर्स को बसाने के लिए मसाला चौक बनाया जाएगा, जहां पर विभिन्न प्रकार के चटपटे व्यंजन मिलेंगे। नाथद्वारा में नया प्रवेश स्वागत द्वारा बनाया जाएगा,  पार्षद प्रमोद गुर्जर ने कहा कि पीपीपी मोड पर देखकर गेट बनवाया जाना चाहिए, इस पर विपक्ष ने कहा कि नगर पालिका की तरफ से ही स्वागत द्वार बनना चाहिए । वही  सड़क, नाली और रोड लाइट जैसे मुद्दों के लिए अलग से इस बार ज्यादा बजट में व्यवस्था करने की आयुक्त ने बात कही । 


पार्षद प्रमोद गुर्जर ने कहा कि नपा अध्यक्ष के नेतृत्व में बिना कर्ज़ के यह बजट पेश किया है।  जो हमने खाया वही विपक्ष को भी खिलाया है। आज तक के इतिहास में ऐसा अध्यक्ष नहीं देखा। इन्होंने हवा में काम नहीं किया और ग्राउंड लेवल पर काम किया। नाथद्वारा की जनता के लिए शानदार बजट पेश किया है, नाथद्वारा में जो प्रोजेक्ट वर्तमान में चल रहा है, उनको जारी रखना चाहिए, केके गुप्ता 4 साल पहले भी नाथद्वारा आए थे और शहर को सुंदर करने पर चर्चा कर गए थे लेकिन इस बार आए तो उसे बैठक में नगर पालिका अध्यक्ष तक को नहीं बुलाया गया। नाथूवास और  सिंहाड़ तालाब के सौंदर्य कर को लेकर गुजरने कहा कि जो बिल्डर नाथू वसीला पर बैठे हैं वह अपनी रसूख के चलते कार्य कर रहे हैं, नाथूवास में 145 खातेदारों में से ब्राह्मणों ने अभी तक कोई जमीन नहीं बची है, जो जमीन नाथूवास में गुमराह कर बिल्डरों ने खरीद दी है, वह एससी एसटी की है,  कहा कि यह एससी एसटी के लोगों की जमीन गुमराह कर खरीद लेते हैं और नगर पालिका से परमिशन लेकर निर्माण कर भोले भाले लोगों को बेच देते हैं। गुर्जर ने कहा कि कैचमेंट में बिल्डर जो बंगले बना लेता है और नगर पालिका उसे अनुमति दे देती है उन मकानों पर लोन हो जाता है और अब वहां पानी भरने पर घर वाले परेशान हो रहे हैं। यहां तालाब प्राकृतिक तालाब है और यह सिंचाई के लिए नहीं बना हुआ होकर पशु पक्षियों के लिए बना हुआ है ।साथ ही इस तालाब से शहर के सभी कुएं  और तालाब के सोर्स हैं। गुर्जर ने कहा की बिल्डरों को संरक्षण नहीं मिले।


 पार्षद विनोद उपाध्याय ने कहा कि विपक्ष ने 5 साल सहयोग दिया है, हम 10 थे और सत्ता के 30 पार्षद थे। बोर्ड की सत्ताधारी पार्षद उज्जवला  लावटी का न्यायालय में जाने पर वे स्वागत के योग्य है, जैसे आप ने अपने चुपचाप रूप से जमीन आवंटन कर दी । पूंजी पति को फायदा पहुंचाने का प्रयास किया।  इस बीच सत्ता धारी पार्षद गुर्जर के टोकने पर प्रतिपक्ष नेता काबरा ने कहा कि पहले इनको बोलने दे । उपाध्याय ने कहा कि गौरव पथ पर खातेदारों ने जो जमीन दी उनसे कन्वर्जन का वादा आज तक पूरा नहीं हुआ है उसको नगर पालिका कब तक पूरा करेगी। नपा के 5 सालों का इतिहास कला इतिहास माना जाएगा। इस बीच  सत्ताधारी पार्षद प्रमोद गुर्जर ने बीच में बोलते हुए कहा कि आज जो उद्घाटन कर रहे हैं यह भी हमारा कार्य है, यह स्वर्णिम कार्यकाल है, महिला पार्षद उज्ज्वल लावटी ने कहा कि पिछली बैठक में भी बुलाकर  गुमराह करवा कर साइन करवा जा रहे हैं। इस पर प्रतिपक्ष नेता काबरा बोल विपक्ष की भी बात को नहीं सुना गया, लेकिन अब शहर की विकास की बात पर जरूर चर्चा की जाएगी । विपक्षी पार्षद आशीष सैनी ने सत्ताधारी पार्षद प्रमोद गुर्जर द्वारा कह गई बात पर कहां की जितने हमने खाया उतना विपक्ष को भी दिया, लेकिन मेरे वार्ड को तो कुछ नहीं मिला, बिच्छू मंगरी से गोरवाजी के घर तक की रोड कई समय तक क्षतिग्रस्त रही, बिजली अंडरग्राउंड का कार्य नाथद्वारा शहर के कई हिस्सों में हुआ, लेकिन मेरे वार्ड में नहीं हुआ मेरे वार्ड में लगे बोर्ड पर मेरा नाम तक नहीं है, सड़क पानी जैसी समस्याओं को लेकर वार्ड वासी जूझ रहे हैं वार्ड वासु की शिकायतों का समाधान समय पर नहीं हो रहा है।

विपक्ष की पार्षद ललित काबरा ने कहा कि वार्ड में काम होता है तो जनता हमसे लड़ने आती है मैं अभी तक 17 लेटर दे चुकी हूं लेकिन अधिकारी कर्मचारी कोई सुनते नहीं है कागज देते हैं तो कच्छे में डाल देते हैं काम होते हैं तो सूचना नहीं देते हैं लोगों का आक्रोश होता है उसका सामना पार्षद को करना पड़ता है 20 दिन से तबीयत खराब है लेकिन हम वार्ड में कार्य नहीं कर पा रहे हैं तो लोग हमें बुरा भला बोल रहे हैं। राम मंदिर के समिति किसने बनाई पैसा कहां से लग रहा है। मौके पर कोई बोर्ड नहीं है । 4 सालों में क्या हुआ यह बात कोई बताने के लिए तैयार नहीं है । सड़कों पर गड्ढे हो रहे हैं। हमारे साथ भेदभाव हुआ है । आप कर हो इसलिए हमको मौके पर नहीं बुलाते हो पार्षद को ही जवाब नहीं दे रहे हो तो जनता को क्या जवाब देते होंगे । तुम से हाथ जोड़कर विनती करती हूं दादागिरी नहीं चलेगी।  चोर वाडा तो आप कर रहे हैं यह कहते हुए पार्षद काबरा की आंखें भर आई। इस दौरान एक और बुजुर्ग बुजुर्ग महिला पार्षद मनोहमा डाबी ने बिना पार्षद की स्वीकृति के ठेकेदारों को भुगतान नहीं करने की मांग को लेकर विधायक को पत्र दिया। 
इस दौरान नाथद्वारा प्राइवेट बस ऑनर्स समिति के अध्यक्ष और पार्षद शेषनारायण माली ने बीच में सभी को ठोकते हुए बोला कि मुझे अभी जल्दी कर जाना है पहले मेरी बात को सुन ली जाए पट्टे कब मिलेंगे, लोग हल्ला कर रहे हैं, सिंहाड़ क्षेत्र की सीवरेज लाइन 8 महीने से खराब है। इस पर नगर पालिका के अधिकारियों ने कहा कि वहां कचरा वाली समस्या है , इस पर पार्षद ने कहा कि वह समस्या आप लोग अपने स्तर पर निपटाए,  हम को वार्ड वासियों की गालियां सुनने को मिलती है। वार्ड में सड़के खराब हो रही है । सत्ता पार्षद सुरेश छापरवाल  ने मृतक कर्मचारियों के आश्रितों को 2 साल हो जाने के बावजूद नौकरी नहीं मिलने पर नौकरी दिलवाने की अनुशंसा की, इस पर बोर्ड ने स्वीकृति प्रदान की।


एजेंडा के बिंदु संख्या 3 के अनुसार अंपायर कमेटी के प्रस्ताव का अनुमोदन करने के लिए चर्चा की गई। इस पर सत्ताधारी पार्षद  उज्ज्वल लवटी ने कहा कि एंपावर्ड कमेटी के द्वारा कौन-कौन से प्रस्ताव ले रखे हैं, उसका विस्तृत वर्णन बोर्ड के सामने पेश करें, इस पर अधिकारी ने जवाब देते हुए कहा कि  निर्णय कमेटी स्वयं अपने स्तर पर लेती है, इस पर लावटी ने कहा कि कमेटी अगर स्वयं के स्तर पर निर्णय ले लेती है तो उसका बोर्ड में अनुमोदन करवाने की क्या आवश्यकता है ।  इस पर अधिकारी ने लावटी के सवाल पर सदन को बताया कि 20 कृषि की फाइलों की स्वीकृति की गई है, कमेटी में कुल 6 प्रस्ताव थे, जिसमें भवन निर्माण की 16 फायले और 12 पहले नामांतरण की है। 

निर्दलीय पार्षद परेश सोनी ने कहा कि भवन निर्माण 1976 में सुखड़िया नगर क्षेत्र की जमीन बिलानाम थी, उसे समय तत्कालीन कलेक्टर ने आदेश दिए कि इस बिलानाम जमीन को नगर पालिका के खाते करवा दी जाए, लेकिन तत्कालीन तहसीलदार द्वारा जमीन को नगर पालिका के खाते नहीं चढ़ावाया गया और उसे जमीन पर नगर पालिका के द्वारा प्लान कर प्लाट बेच दिए।   निर्माण स्वीकृतियां देकर आवासीय परियोजना स्वीकृत । अब गत दो सालों से सुखड़िया नगर क्षेत्र में नगर पालिका द्वारा वन विभाग की जमीन बताते हुए निर्माण कर्ताओं को स्वीकृतियां नहीं दी जा रही है, लेकिन भवन निर्माण करने वालों के निर्माण कार्य को बंद करवाना और नोटिस देने की कार्रवाई नगर पालिका द्वारा की जा रही है, अगर वह जमीन नगर पालिका की नहीं है तो नगर पालिका के अधिकारी कर्मचारी वहां जाकर नोटिस क्यों दे रहे हैं और वहां काम बंद क्यों करवा रहे हैं या फिर जिनके पास में पट्टे हैं उनको निर्माण करने की अनुमति दीजिए । इस पर जवाब देते हुए विधायक ने कहा कि इस बारे में बात हो गई है। वन विभाग पर हम कोई निर्णय नहीं ले सकते हैं । गलती उनकी नही है, वह फस गए हैं तो सरकार से इस विषय पर चर्चा करेंगे। जब जमीन आपकी नहीं तो नापा क्या लेने जा रही है। 

पार्षद मीणा ने कहा कि  हम सब चुनाव में श्रीनाथ कॉलोनी सहित वन विभाग क्षेत्र में बसी कॉलोनी में वोट लेने जाते हैं वन विभाग की जमीन में बसे लोग हमसे उम्मीद करते हैं कि हम उनके जमीनों को रेगुलेशन करवा कर कोई प्लान बनाए मकान में रहने वाला अवैध कनेक्शन लेकर रह रहा है।  इस पर पूरे सदन में एग्री होते हुए समर्थन दिया। निर्दलीय पार्षद परेश सोनी  ने कहा कि कोरोना कल में जो कार्य करवाए गए हैं उनका भुगतान नहीं किया जा रहा है, ठेकेदार परेशानी का विरोध कर रहे हैं। इस पर सत्ता पार्षद माली ने कहा कि यह उधारी क्यों रखते हो इधर भी ले देकर खत्म करो । पार्षद रतन दास मीणा ने कहा कि नथुवास तालाब के पास बनी स्कूल तालाब मव मलवा भरने से डूब गई है।  तालाब से मलवा उठाने की मांग की।  इस पर सत्ताधारी पार्षद प्रमोद गुर्जर ने कहा कि हाईकोर्ट के ऑर्डर के बाद नाथूवास के तालाब से बिल्डर को मालवा उठाया जाएग।  प्रतिपक्ष नेता प्रदीप काबरा ने कहा की जीत के आए तो पहली बार लोकतंत्र का एहसास हुआ। पहली बार बजट बैठक में बोलने का मौका मिला। ऐसा लगा लोकतंत्र जिंदा है। 4 साल तक 40 पार्षद मिलकर कार्य करेंगे, लेकिन अब वह समय आ गया है। आज हर पार्षद ने खुलकर अपनी पीड़ा बताई और उसकी सभी ने ध्यान से सुना। हम उसे पर सभी मिलकर अब सब उन समस्याओं का समाधान विधायक के नेतृत्व में करेंगे ।

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