कार्डियक अरेस्ट के कारण डॉ गौरव गांधी का निधन, 16 हजार से ज्यादा एंजियोग्राफी और एंजियोप्लास्टी की

कार्डियक अरेस्ट के कारण डॉ गौरव गांधी का निधन, 16 हजार से ज्यादा एंजियोग्राफी और एंजियोप्लास्टी की
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जामनगर. शहर के हृदयरोग विशेषज्ञ की  हार्ट अटैक से मौत हो गई। चिकित्सकों में चिंता व्याप्त होने के साथ ही हृदयाघात का कारण जानने के लिए पोस्टमार्टम कराया गया। शाम को गमगीन माहौल में अंतिम संस्कार किया गया।
शहर के एस.टी. स्टैंड के सामने निजी अस्पताल में कार्यरत हृदयरोग विशेषज्ञ (कार्डियोलॉजिस्ट) डॉ. गौरव गांधी सोमवार रात को मरीजों के इलाज के बाद पैलेस रोड स्थित साम्राज्य अपार्टमेंट की तीसरी मंजिल पर अपने घर पहुंचे। खाना खाकर वे सो गए. मंगलवार सुबह 6 बजे वे अचेत अवस्था में मिले। संबंधियों को बुलाकर उन्हें 108 एंबुलेंस से जी जी अस्पताल पहुंचाया गया। वहां हृदय रोग विशेषज्ञों ने दो घंटे तक गहन उपचार किया, लेकिन डॉ. गौरव गांधी की हालत बेहद खराब थी। अंतत: बेहोशी की हालत में नहीं बचाया जा सका, उन्हें मृत घोषित कर दिया गया।
कार्डियक अरेस्ट के कारण डॉ गौरव गांधी का निधन हो गया, हालांकि सटीक कारण जानने के लिए जीजी अस्पताल में पोस्टमार्टम किया गया। वे अपने पिता दिनेशचंद्र गांधी, माता कुसुम गांधी, पत्नी दंत चिकित्सक डॉ. देवांशी गांधी, पुत्री धन्वी और पुत्र प्रखर को छोड़ गए। उनका अंतिम संस्कार  गमगीन माहौल में किया गया। डॉ. गांध के कार्डियक अरेस्ट की जानकारी सामने आने पर जामनगर समेत सौराष्ट्र के डॉक्टर चिंतित हो गए।

 1982 में जन्मे 41 वर्षीय डॉ. गौरव गांधी ने कॅरियर के दौरान उन्होंने 16,000 से ज्यादा एंजियोग्राफी और एंजियोप्लास्टी की। हालांंकि वे अपनी ही धडक़न को नहीं समझ सके। घटना के बाद चिकित्सकों में चर्चा चल रही है कि मानसिक तनाव या कोरोनारोधी टीकों के कारण डॉ. गांधी की मौत हुई।

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