महाराष्ट्र के पूर्व मंत्री के खिलाफ ED का आरोप-पत्र, बेहिसाब धन से कराया दापोली रिसॉर्ट का निर्माण
प्रवर्तन निदेशालय ने महाराष्ट्र के पूर्व मंत्री अनिल परब और पूर्व सरकारी अधिकारी के खिलाफ मंगलवार को अदालत में एक आरोप पत्र दायर किया। जिसमें ईडी ने कहा, पूर्व मंत्री ने रत्नागिरी जिले के दापोली में अपना बेहिसाब पैसा निवेश कर एक रिसॉर्ट बनाया। यह मनी लॉन्ड्रिंग का मामला है।रिसॉर्ट के निर्माण से जुड़े मामले में परब के अलावा उनके सहयोगी सदानंद कदम और पूर्व अनुविभागीय अधिकारी (एसडीओ) जयराम देशपांडे के खिलाफ भी आरोप पत्र दायर किया गया है। दोनों फिलहाल न्यायिक हिरासत में हैं। फेडरल एंटी मनी लॉन्ड्रिंग एजेंसी ने भी परब से पूछताछ की थी, लेकिन चार्जशीट में उन्हें आरोपी के तौर पर नामजद नहीं किया गया है। धन शोधन निवारण अधिनियम (पीएमएलए) के तहत मामलों के विशेष न्यायाधीश एम जी देशपांडे ने मंगलवार को आरोप पत्र का संज्ञान लिया और आरोपी व्यक्तियों को समन जारी किया।एक एकड़ जमीन पर कराया गया रिजॉर्ट का निर्माण
साई रिजॉर्ट एनएक्स के संबंध में जांच के दौरान यह पता चला है कि दापोली रत्नागिरी में स्थित 42.14 गुंटा (एक एकड़ से अधिक) की भूमि पर बनाया गया है। ईडी की चार्जशीट में कहा गया है कि इसे विभास साठे से अनिल परब ने 1 करोड़ रुपये में खरीदा था। इसका सौदा 1.80 करोड़ रुपये में तय किया गया था और परब ने जमीन खरीदने के लिए 80 लाख रुपये की बेहिसाब नकदी का इस्तेमाल किया, जिससे इसकी वास्तविक कीमत कम हो गई।
रिजॉर्ट के निर्माण में नियमों का किया गया उल्लंघन
चार्जशीट में कहा गया, अनिल परब ने अपने बेहिसाब पैसे का निवेश करके साई रिजॉर्ट एनएक्स का निर्माण किया गया। साथ ही सीआरजेड III नियमों का भी उल्लंघन किया गया। ईडी ने कहा कि परब के सहयोगी और आरोपी सदानंद कदम ने कृषि भूमि की खरीद और इसके निर्माण के दौरान महत्वपूर्ण भूमिका निभाई।