सरपंच संघ राजस्थान की स्थानीय इकाई ने सौंपा ज्ञापन

सरपंच संघ राजस्थान की स्थानीय इकाई ने सौंपा ज्ञापन
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निम्बाहेड़ा। राजस्थान सरपंच संघ की निम्बाहेड़ा इकाई द्वारा सरपंच संघ की लम्बित मांगों को पूर्ण करने की मांग को लेकर मंगलवार को सीएम अशोक गहलोत एवं ग्रामीण विकास व पंचायतीराज मंत्री रमेश चन्द्र मीणा के नाम ज्ञापन निम्बाहेड़ा उपखण्ड़ अधिकारी रमेश सिरवी पुनाडिय़ा को सौंपा। ज्ञापन के माध्यम से सरपंच संघ ने बताया कि सभी मांगों को शीघ्र पूर्ण नहीं किया गया तो आगामी दिनों में आयोजित किए जाने वाले महंगाई राहत कैम्प का बहिष्कार किया जाएगा।

पूर्व प्रधान अशोक जाट ने बताया कि केन्द्र सरकार द्वारा आवासहिनों के लिए चलाई जा रही प्रधानमंत्री आवास प्लस योजना का राजस्थान राज्य में क्रियान्वयन नहीं होने से वंछितों एवं पात्र परिवारों को शीघ्र स्वीकृति जारी करने के साथ ही राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा योजना में पात्र लाभार्थियों के पेंडिंग पड़े आवेदन पत्रों को स्वीकृत कर वंछित पात्र परिवारों को लाभ दिया जाए।

उन्होने बताया कि राज्य सरकार ने खाद्य सुरक्षा योजना में 10 लाख लाभार्थियों को जोडऩे का लक्ष्य रखा था जो अभी तक पूर्ण नहीं हुआ है। खाद्य सुरक्षा में वंचित पात्र परिवारों को शीघ्र से शीघ्र जोडऩे के साथ ही राशन कार्ड में एडिट का ऑप्शन चालू किया जाये जिससे नये लोगों को जोड़ कर वंचित पात्र परिवार और सदस्यों को लाभान्वित किया जा सके। इसके साथ ही प्रधानमंत्री आवास प्लस योजना से वंचित रहे नये पात्र परिवारों को जोडने के लिए पोर्टल खोलने की भी मांग की गई है।

सरपंच संघ ने ज्ञापन के माध्यम से मांग की है कि पिछले लम्बे समय से पन्द्रहवें केंद्रीय वित्त आयोग की राशि करीबन 1500 करोड़ रूपये बकाया है जिसे शीघ्र जारी करवाया जावे, साथ ही राज्य वित आयोग 2022-23 की दोनों किश्तें जो करीबन 3000 करोड़ रूपये राज्य सरकार पर बकाया है, इसे शीघ्र ग्राम पंचायतों के खातों में हस्तानान्तरित किया जाए।

ज्ञापन में बताया कि पन्द्रहवें केंद्रीय वित आयोग के मद के लिए ग्राम पंचायतों द्वारा बनाए जा रहे वार्षिक प्लान में अमेंडमेंट पर अनेकानेक पाबंदियां लगा दी है, जिसमें शिथिलता प्रदान करते हुए पूर्ववत बदलाव किया जाना का अनुमत किया जावे एवं पन्द्रहवें केंद्रीय वित आयोग में केन्द्र सरकार द्वारा ग्राम पंचायतों एवं पंचायती राज संस्थाओं को दिए जाने वाले अनुदान में बढ़ौतरी के बजाए कटौती की जा रही है जिसे बढ़ाते हुए जारी किया जावे।

वहीं महात्मा गांधी नरेगा योजनान्तर्गत ऑनलाईन हाजारी एनएमएमएस के माध्यम से श्रमिकों के नियोजन एवं उपस्थिति दर्ज करने में आ ही समस्याओं के समाधान के संबंध में ऑफलाईन उपस्थिति अनुमत कर 20 कार्यों से अधिक कार्य स्वीकृति पर पाबंदी हटाकर पूर्ववत किया करने की भी मांग की है। साथ ही महात्मा गांधी नरेगा योजना अन्तर्गत सामग्री मद मांग के भुगतान प्रत्येक तीन माह में करने,  सभी बिलों में मनरेगा प्रावधानों के अनुसार पक्के कार्यों की पर्याप्त स्वीकृतियां जारी करने, मनरेगा कार्यों की स्वीकृतियां प्रस्ताव प्रेषित करने के 15 दिन की समयावधि में करने, महात्मा गांधी नरेगा योजनान्तर्गत जिन जिलों का भुगतान बकाया हैं और भौतिक सत्यापन भी हो चुका है उनका भुगतान अतिशीघ्र करवाने की मांग की है।

इन सभी मांगों को शीघ्र पूर्ण करने की मांग को लेकर ज्ञापन सौंपते समय पूर्व उपप्रधान अशोक जाट, मिण्डाना सरपंच प्रतिनिधि राजेन्द्र सिंह शक्तावत, बांगरेड़ा सरपंच राजेश धाकड़, कोटडी कलां सरपंच पारस जैन, जलिया सरपंच प्रतिनिधि अम्बालाल मीणा, केली सरपंच प्रतिनिधि राधेश्याम टेलर आदि ने एसडीएम को अवगत करवाया कि ग्राम पंचायतों की लम्बे समय से लम्बित चली आ रही उपरोक्त मांगों का समाधान नहीं किया गया तो मजबूरन सरपंचों को राज्य सरकार के महत्वपूर्ण योजना महंगाई राहत कैम्प (प्रशासन गांव के संग अभियान) का बहिष्कार करना पड़ेगा।

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