झील किनारे मनोरंजन केंद्र चलाने वाली फर्म का ठेका रद्द; नाव हादसे पर नगर निगम का एक्शन
गुजरात के वडोदरा नगर निकाय ने एक झील के किनारे मनोरंजन केंद्र का संचालन करने वाली फर्म का अनुबंध रद्द कर दिया है। बता दें कि यह वही झील है, जिसमें कुछ दिन पहले एक नाव पलट गई थी। इस हादसे में दो शिक्षक और 12 छात्रों की मौत हो गई थी।
गुरुवार को हरनी क्षेत्र के मोटनाथ झील में शिक्षकों और छात्रों को पिकनिक पर ले जा रही नाव पलट गई। जांच में पता चला कि नाव में क्षमता से अधिक लोग सवार थे और पर्याप्त सुरक्षा जैकेट भी नहीं था। इस हादसे के बाद एक ठेकेदार के प्रबंधक को गिरफ्तार किया गया था। वडोदरा नगर निकाय (वीएमसी) ने झील किनारे मनोरंजन केंद्र चलाने वाली फर्म कोटिया प्रोजेक्ट का अनुबंध रद्द कर दिया है।
फर्म का अनुबंध रद्द
नगर निकाय की स्थाई समिति की अध्यक्ष शीतल मिस्ट्री ने कहा, 'इस मनोरंजन केंद्र को पीपीपी मॉडल के तहत विकसित किया गया था। इसके लिए फर्म वीएमसी को सलाना 3,01,111रुपये का भुगतान करता था। शर्तों के उल्लंघन के कारण नगर आयुक्त ने फर्म का अनुबंध रद्द कर दिया। परिसर को सील कर दिया गया है। लीज अवधि केवल 30 साल के लिए थी।'
मोटनाथ झील 55,164 वर्ग किमी क्षेत्र में फैला हुआ है। कोटिया प्रोजेक्ट्स को 2017 में वडोदरा नगर निगम (वीएमसी) ने मनोरंजन केंद्र, हरनी लेक जोन के संचालन और रखरखाव का ठेका दिया था। प्रस्ताव में पैडल, मशीनीकृत नाव, 42 वर्ग मीटर का घाट, लाइफगार्ड और सुरक्षा जहाज रखना शामिल था। इस प्रस्ताव में नाव की सवारी करने वालों के लिए रक्षा जैकेट और लाइफगार्ड के प्रबंध पर भी जोर दिया गया था। घटना के बाद दर्ज एफआईआर में बताया गया कि नाव में सवार ज्यादातर बच्चों के पास सुरक्षा जैकेट नहीं था।
वडोदरा के डीएम एबी गौड़ ने बताया कि कि संचालकों की लापरवाही के कारण इतना बड़ा हादसा हुआ। उन्होंने कहा कि भारतीय दंड संहिता की धारा 304 (गैर इरादतन हत्या) और 308 (गैर इरादतन हत्या का प्रयास) के तहत प्राथमिकी दर्ज की गई है