भारत टेक्स 2025 पर रोड शो 14 से

By :  vijay
Update: 2024-10-19 12:58 GMT

भीलवाडा हलचल। भारत के टेक्सटाइल उद्योग को विश्वस्तरीय ब्रांड बनाने के उद्देश्य से टेक्सटाइल मंत्रालय के सहयोग से देश की सभी निर्यात संवर्धन परिषदों की ओर से 14 से 17 फरवरी 2025 को ’’भारत टेक्स 2025’’ का द्वितीय आयोजन होगा। गत वर्ष के मुकाबले इस आयोजन में कई नये अन्तर्राष्ट्रीय ब्रांड नाम जुड रहे है। इस वर्ष के आयोजन में टेक्नीकल टेक्सटाइल, एपैरेल संबंधित उत्पादों की प्रमुखता रहेगी। फाइबर से फैशन तक की प्रदर्शनी नई दिल्ली के भारत मण्डपम एवं यशोभूमि में आयोजित की जा रही है। आम तौर से विश्व में आयोजित होने वाली टेक्सटाइल प्रदर्शन प्रोडक्ट या सेक्टर संबंधी होते है लेकिन भारत टेक्स में सभी प्रोडक्ट, सभी सेक्टर के साथ नये विकास की भूमिका पर भी प्रदर्शन होगें। यह बात वस्त्र मंत्रालय की ट्रेड एडवाजर श्रीमती शुभ्रा ने शनिवार दोपहर होटल इम्पीरियल सीआईटीआई की ओर से मेवाड़ चेम्बर ऑफ कॉमर्स एण्ड इण्डस्ट्री, राजस्थान टेक्सटाइल मिल्स एसोसियेशन एवं टेक्सप्रोसिल के सहयोग से आयोजित रोड शो को सम्बोधित करते हुए कही।

उन्होंने बताया कि रेडीमेड एवं एपैरेल सेक्टर के लिए विश्व के प्रमुख फैशन डिजाइनर आने वाले वर्षो में फैशन ट्रेंड एवं तद्नुसार उपभोक्ता की बदलती हुई मांग के विषय मंे जानकारी देगें। साथ ही कई फैशन शो भी आयोजित किये जाएगे। भारत के टेक्सटाइल हैंडीक्राफ्ट का विशाल प्रदर्शन होगा। न केवल टेक्सटाइल उत्पादन वरन् टेक्सटाइल मशीनरी की भी प्रदर्शनियां होगी। भारत का टेक्सटाइल उद्योग पूरे विश्व के लिए बहुत महत्वपूर्ण है। इसलिए पूरे विश्व से उत्पादक, खरीददार, सप्लायर, टेक्नीशियन, सीईओ इस प्रदर्शनी के लिए दिल्ली आ रहे है एवं सभी प्रमुख होटलों को इसके लिए रिजर्व कर लिया गया है।

कई अर्न्तराष्ट्रीय संस्थान नये विकसित उत्पादों को प्रदर्शित करेंगे एवं कई उत्पाद तो भारत टेक्स 2025 में ही विश्व के सामने रखे जाएगे। शुभ्रा ने बताया कि न केवल निर्यात संवर्धन परिषद या भारत सरकार का वस्त्र मंत्रालय के भी स्टाल होगे वरन विभिन्न राज्यों की ओर से भी मेला पार्टनर के रुप में भाग लिया जाकर विभिन्न राज्यों की टेक्सटाइल नीतियां, उद्योग नीतियां, भूमि, जल की उपलब्धता, निवेश की सुलभता की जानकारी दी जाएगी। भारत टेक्स 2025 में भारतीय संस्कृति की जानकारी देने के लिए विभिन्न सांस्कृतिक कार्यक्रम भी आयोजित होगें। उन्होंने भीलवाडा के टेक्सटाइल उद्यमियों से इस अर्न्तराष्ट्रीय स्तर के विशाल मेले में भाग लेने के साथ अपने विदेशी खरीदारों को भी आमंत्रित करने का आग्रह किया।

सीआईटीआई के चेयरमैन राकेश मेहरा ने कार्यक्रम के प्रारम्भ में सभी का स्वागत करते हुए कहा कि उत्पाद प्रदर्शन के साथ इस मेले की विशेष भूमिका टेक्सटाइल उद्योग से निर्यात बढ़ाने की होगी। टेक्सप्रोसिल एग्जीक्यूटिव डायरेक्टर सिद्धार्थ राजगोपाल ने कहा कि टेक्सटाइल उद्योग को आगे ग्रीन उद्योग के रूप में परिवर्तित करना होगा, जिसके लिए टेक्सटाइल से निकलने वाले वेस्ट को पुर्नचक्रित एवं उपयोगी बनाने के संबंधी भी उपकरण, तकनीक की जानकारी भी उपलब्ध होगी।

आरटीएमए के चेयरमैन डॉ एस एन मोदानी ने कहा कि विश्व में मैन मेड फाइबर उत्पाद की मांग बढ़ती जा रही है एवं इसके लिए सरकार को मैन मेड फाइबर उद्योग को भी पूरा महत्व देने एवं विभिन्न योजनाओं में इस उद्योग के सभी सेक्टर को सम्मिलित करने की आवश्यकता है।

मेवाड़ चैम्बर के अध्यक्ष बी एम शर्मा ने कहा कि विश्व के प्रमुख ब्रांड उत्पादक अब भारत से रॉ-मटेरियल के बजाय अन्तिम फिनिश प्रोडक्ट के रूप में एपेरेल की मांग कर रहे है, क्योंकि अब विश्व चीन के बजाय टेक्सटाइल उत्पादों के लिए भारत की ओर रुख कर रहा है। सरकार को इसके लिए भीलवाडा जैसे टेक्सटाइल केन्द्रों को रेडीमेड, एपेरेल हब के रूप में भी विकसित करने के लिए नई योजना लानी चाहिए।

सीआईटीआई की महासचिव चन्द्रिमा चटर्जी ने अपने प्रेजेंटेशन में आयोजन के विविध आयामों की विस्तार से जानकारी दी। सांसद दामोदर अग्रवाल ने भीलवाडा के टेक्सटाइल उद्योगों के सामने विभिन्न चुनौतियों एवं समस्याओं के बारे में चर्चा की।

सीआईटीआई के वाइस चेयरमैन दिनेश नौलखा सभी का धन्यवाद ज्ञापित किया। कार्यक्रम का संचालन मेवाड़ चैम्बर के मानद महासचिव आर के जैन ने किया।  

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