राहुल बोले- आशा है बिरला विपक्ष को बोलने का मौका देकर संविधान की रक्षा करेंगे

By :  vijay
Update: 2024-06-26 18:25 GMT

पिछले 10 सालों से बगैर नेता विपक्ष रहने के बाद आखिरकार 18वीं लोकसभा में निचले सदन को नेता विपक्ष मिला है। बता दें कि लोकसभा चुनाव में देश की दूसरी सबसे बड़ी पार्टी कांग्रेस ने अपने सांसद राहुल गांधी को विपक्ष का नेता चुना है। वहीं लोकसभा ने नेता विपक्ष के लिए राहुल गांधी की नियुक्ति पर कांग्रेस पार्टी के अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने सोशल मीडिया X पर लिखा- 18वीं लोकसभा में, जनता का सदन सही मायने में अंतिम व्यक्ति की आकांक्षाओं को प्रतिबिंबित करेगा, जिसमें राहुल गांधी उनकी आवाज बनेंगे। कांग्रेस अध्यक्ष के रूप में, मुझे विश्वास है कि देश के कोने-कोने में यात्रा करने वाला एक नेता लोगों की आवाज उठाएगा - खासकर वंचितों और गरीबों का।


पार्टी नेताओं का राहुल ने जताया आभार

कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे की शुभकामनाओं पर प्रतिक्रिया देते हुए कांग्रेस सांसद राहुल गांधी ने सोशल मीडिया X पर लिखा - मैं कांग्रेस अध्यक्ष खरगे जी और कांग्रेस नेता के साथ-साथ पूरे देश में पार्टी के बब्बर शेर कार्यकर्ताओं के सहयोग और शुभकामनाओं के लिए धन्यवाद देता हूं। राहुल गांधी ने आगे लिखा - हम साथ में सभी भारतीयों की आवाज संसद में उठाएंगे, अपने संविधान की रक्षा करेंगे और एनडीए सरकार को उनके कार्यों के लिए जवाबदेह ठहराएंगे।


 10 साल से खाली था नेता विपक्ष का पद

आपको बता दें कि पिछले 10 सालों से लोकसभा में कोई नेता विपक्ष नहीं था क्योंकि सत्ताधारी दल के अलावा और कोई भी राजनीतिक दल लोकसभा में विपक्ष के नेता का पद हासिल करने के लिए जरूरी सीट नहीं जीत सकी थी। हालिया लोकसभा चुनाव में राहुल गांधी ने रायबरेली और वायनाड लोकसभा सीट से जीत हासिल की थी। वायनाड लोकसभा सीट पर राहुल गांधी ने सीपीआई पार्टी के उम्मीदवार एनी राजा को 3 लाख 64 हजार से ज्यादा वोट से हराया था। वहीं रायबरेली लोकसभा सीट पर उन्होंने भाजपा के उम्मीदवार दिनेश प्रताप सिंह को 3 लाख 90 हजार से ज्यादा वोट से मात दी थी।

वायनाड से इस्तीफा, रायबरेली से सांसद हैं राहुल

फिलहाल राहुल गांधी ने वायनाड सीट से इस्तीफा देकर रायबरेली लोकसभा सीट से सांसद बने हुए हैं। जबकि कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने पिछले हफ्ते वायनाड लोकसभा सीट के उपचुनाव के लिए पार्टी की नेता प्रियंका गांधी को उम्मीदवार बनाया है। अगर प्रियंका गांधी वायनाड लोकसभा सीट का उपचुनाव जीत जाती है तो नेहरू-गांधी परिवार से कुल तीन सदस्य संसद में होंगे। अभी सोनिया गांधी राज्यसभा से सदस्य हैं, राहुल गांधी रायबरेली लोकसभा सीट से सांसद हैं।

नेता विपक्ष की होती है अहम भूमिका

बता दें कि लोकसभा सीटों की कुल संख्या के दसवें हिस्से से कम सीटें न रखने वाले सबसे बड़े विपक्षी दल के नेता को विपक्ष के नेता के रूप में मान्यता दी जाती है। वह लोक लेखा (अध्यक्ष), सार्वजनिक उपक्रम, अनुमान और कई संयुक्त संसदीय समितियों जैसी महत्वपूर्ण समितियों के सदस्य होते हैं। इसके साथ-साथ केंद्रीय सतर्कता आयोग, केंद्रीय सूचना आयोग, सीबीआई, एनएचआरसी और लोकपाल जैसे वैधानिक निकायों के प्रमुखों की नियुक्ति के लिए जिम्मेदार कई चयन समितियों का सदस्य होने का हकदार भी होते हैं।

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