कोटा के संभागीय आयुक्त राजेन्द्र विजय के ठिकानों पर एसीबी की छापेमारी

जयपुर राजस्थान में एंटी करप्शन ब्यूरो ने कोटा के संभागीय आयुक्त राजेन्द्र विजय के ठिकानों पर छापेमारी शुरू की है। अधिकारियों को आय से अधिक संपत्ति रखने की शिकायतें मिली थीं, जिसके बाद एसीबी ने उनके खिलाफ कार्रवाई की योजना बनाई। राजेन्द्र विजय, जिनकी तैनाती हाल ही में कोटा में हुई थी, पर दौसा, जयपुर और कोटा में उनके चार ठिकानों पर छापेमारी की जा रही है। एसीबी ने इन ठिकानों की जांच करने के लिए अदालत से आदेश प्राप्त किया, जिसके आधार पर यह कार्रवाई की जा रही है।

आज सुबह करीब साढ़े 6 बजे से एसीबी ने विभिन्न ठिकानों पर सर्च ऑपरेशन शुरू किया। एसीबी मुख्यालय से इस कार्रवाई की मॉनिटरिंग की जा रही है और अधिकारियों को फील्ड में निर्देश दिए जा रहे हैं। माना जा रहा है कि राजेन्द्र विजय के कई ठिकानों पर मौजूद संपत्तियों की जांच की जाएगी, जिसमें उनकी जयपुर स्थित महल जैसे बंगले और दौसा में उनके पैतृक निवास शामिल हैं। रिपोर्ट्स के अनुसार, उनके बंगले के पास एक खाली प्लॉट भी है, जो उनकी संपत्ति को लेकर सवाल खड़े करता है।

राजेन्द्र विजय का प्रशासनिक करियर काफी लंबा रहा है, जिसमें उन्होंने कई प्रमुख पदों पर कार्य किया है। उनका कार्यक्षेत्र जयपुर, टोंक, चूरू, गंगानगर और भरतपुर जैसे शहरों तक फैला हुआ है। हाल ही में, उन्हें भजन लाल सरकार द्वारा कोटा का संभागीय आयुक्त नियुक्त किया गया था। उल्लेखनीय है कि विजय को 2005 और 2008 में दो बार एपीओ ; भी रह चुके हैं। अब एसीबी की जांच ने उनकी ईमानदारी पर सवाल उठाए हैं।

इस घटना से यह स्पष्ट होता है कि सरकारी अधिकारियों की संपत्ति और उनकी कार्यशैली पर नजर रखने के लिए एसीबी जैसी संस्थाएं सक्रिय हैं। अब देखना यह होगा कि राजेन्द्र विजय के खिलाफ एसीबी की यह जांच किस दिशा में आगे बढ़ती है।

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