चुनाव आयोग ने छह राज्यों में SIR की समय सीमा बढ़ाई

नई दिल्ली। चुनाव आयोग ने विशेष सघन पुनरीक्षण प्रक्रिया के तहत मतदाता सूची को अधिक सटीक बनाने के उद्देश्य से उत्तर प्रदेश सहित छह राज्यों में एसआईआर की अवधि बढ़ा दी है, जबकि पश्चिम बंगाल के लिए किसी भी तरह का विस्तार नहीं दिया गया है।
चुनाव आयोग का विशेष सघन पुनरीक्षण
आयोग ने देश के 12 राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों के मुख्य निर्वाचन पदाधिकारियों को निर्देश दिया है कि मसौदा मतदाता सूची जारी होने से पहले प्रत्येक बूथ पर मृत, स्थानांतरित, अनुपस्थित और डुप्लीकेट मतदाताओं की सूची को राजनीतिक दलों के बूथ लेवल एजेंटों के साथ साझा किया जाए। आयोग ने यह भी कहा कि सभी राज्यों को मतदाता सूची की शुद्धता सुनिश्चित करने के लिए गहन जांच और सत्यापन की प्रक्रिया को गति देनी चाहिए।

बिहार मॉडल का पालन करने के निर्देश
चुनाव आयोग ने राज्यों को निर्देश दिया है कि बिहार की तरह सभी संदिग्ध मतदाताओं की सूची को मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी और जिला निर्वाचन अधिकारी की वेबसाइट पर अपलोड किया जाए। आयोग का कहना है कि ऑनलाइन सूची उपलब्ध होने से मतदाता सूची में सुधार आसानी से होगा और पूरी प्रक्रिया अधिक पारदर्शी बनेगी। उत्तर प्रदेश द्वारा गणना फार्म जमा करने की अवधि बढ़ाने की मांग पर आयोग ने सकारात्मक रुख रखते हुए इसे एक सप्ताह के लिए बढ़ाने की अनुमति भी दी है।
पश्चिम बंगाल में कोई समय विस्तार नहीं
आयोग ने पश्चिम बंगाल में एसआईआर अवधि बढ़ाने से इनकार किया है। वहीं, वहां के मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी को निर्देश दिया गया है कि हाई राइज इमारतों और सोसायटियों में रहने वाले मतदाताओं की सुविधा को ध्यान में रखते हुए नए मतदान केंद्र बनाए जाएं। साथ ही यह सुनिश्चित किया जाए कि किसी भी मतदान केंद्र पर 1200 से अधिक मतदाता न हों। आयोग ने पश्चिम बंगाल से 31 दिसंबर तक नए मतदान केंद्रों की पूरी सूची उपलब्ध कराने को कहा है।
