भीलवाड़ा में अमोनियम नाइट्रेट का काला कारोबार बेखौफ जारी

भीलवाड़ा में अमोनियम नाइट्रेट का काला कारोबार बेखौफ जारी
X



दिल्ली धमाके के बाद अमोनियम नाइट्रेट पूरे देश में चर्चा का विषय बना हुआ है, लेकिन भीलवाड़ा जिले में इसकी खतनाक खुली बिक्री अब भी चालू है. स्थिति यह है कि अमोनियम नाइट्रेट न केवल बेचा जा रहा है बल्कि पत्थर खदानों और अवैध खनन में इसका इस्तेमाल धड़ल्ले से हो रहा है. कानून साफ कहता है कि अमोनियम नाइट्रेट खुले में बेचना मान्य नहीं है, फिर भी स्थानीय दुकानदार कुछ अतिरिक्त कमाई के लालच में पूरे जिले को खतरे के मुहाने पर खड़ा कर रहे हैं. शहर में इससे पहले भी धमाका हो चुका है, इसके बावजूद बेखौफ कारोबार थमने का नाम नहीं ले रहा.

कई जिलों तक पहुंच रही खतरनाक खेप

भीलवाड़ा शहर में अमोनियम नाइट्रेट खुले में बिक रहा है. बिजौलिया, मांडलगढ़, मांडल, दरीबा, कोटड़ी और ऑर्डर क्षेत्र के पत्थर खदानों में इसका सबसे ज्यादा उपयोग हो रहा है. सबसे चौंकाने वाली बात यह कि दिल्ली में हुए धमाके में भी इसी अमोनियम नाइट्रेट का इस्तेमाल हुआ था. सरकार ने उसके बाद सख्त आदेश जारी किए, लेकिन जिले में इसका कोई असर नहीं दिखता. न तो कोई रजिस्टर मेंटेन किया जा रहा है और न ही बिक्री की निगरानी. जानकार लोगों के लिए अमोनियम नाइट्रेट की उपलब्धता आसान है, जबकि अनजान खरीदारों को सावधानी के नाम पर मना कर दिया जाता है. यह साफ करता है कि पूरा सिस्टम जानकार और अवैध नेटवर्क वाले लोगों के इशारों पर चल रहा है.

काला कारोबार चालू, खतरा भी बढ़ रहा

भीलवाड़ा हलचल टीम की पड़ताल में सामने आया कि धमाके के बाद दुकानदार खुलकर बात नहीं करना चाहते. लेकिन अंदरखाने सौदा अभी भी बिना किसी रोकटोक के जारी है. जानकार लोग बिना किसी पूछताछ के अमोनियम नाइट्रेट हासिल कर रहे हैं. ब्लैक में बेचने से मिलने वाला मोटा मुनाफा दुकानदारों और सप्लायर्स को कानून की धज्जियां उड़ाने पर मजबूर कर रहा है. कई दुकानों में यह खाद चोरी छिपे बेचा जा रहा है, और ग्राहक को सिर्फ इतना बताया जाता है कि कीमत बाजार से थोड़ी ज्यादा पड़ेगी.

संभावित खतरों ने बढ़ाई चिंता

अमोनियम नाइट्रेट का यह अवैध कारोबार सिर्फ अवैध खनन तक सीमित नहीं है.

इसके गंभीर खतरे हैं

एक यह किसी भी समय बड़े विस्फोट का कारण बन सकता है और बीसियों किलोमीटर तक जनहानि पहुंचा सकता है.

दो खुले में रखा अमोनियम नाइट्रेट गर्मी और नमी के संपर्क में आकर खुद भी खतरनाक रूप से सक्रिय हो सकता है.

तीन अवैध उपयोग के चलते यह असामाजिक तत्वों के हाथ में भी आसानी से पहुंच सकता है जिससे सुरक्षा एजेंसियों के लिए बड़ा खतरा पैदा होता है.

चार पिछले धमाके की घटनाएं साबित करती हैं कि थोड़ी सी चूक पूरे शहर को दहलाने के लिए काफी है.

कुल मिलाकर भीलवाड़ा जिले में अमोनियम नाइट्रेट का अवैध कारोबार एक समय बम की तरह पल रहा है. दुकानदारों से लेकर खदान संचालक तक, सब की चुप्पी और मनमानी पूरे जिले की सुरक्षा को खतरे में डाल रही है. सवाल यह है कि बड़ी त्रासदी का इंतजार किया जाएगा या जिम्मेदार विभाग तुरंत कार्रवाई करेगा.

Next Story