जन-जन तक पहुंच रहा राज्य सरकार से लाभ, जिला कलक्टर कर रहे हैं सतत निरीक्षण

भीलवाड़ा,। गरीब, किसान, महिला और युवाओं के उत्थान के लिए राज्य सरकार द्वारा 24 जून से शुरू किया गया पंडित दीनदयाल उपाध्याय अन्त्योदय संबल पखवाड़ा जिले में जनसेवा का व्यापक अभियान बन गया है। इस अभियान का मुख्य उद्देश्य शासन की जनकल्याणकारी योजनाओं को अंतिम व्यक्ति तक पहुंचाना और वंचितों को प्राथमिकता देते हुए उनका त्वरित समाधान करना है।

इस पखवाड़े के तहत ग्राम पंचायत स्तर पर प्रतिदिन शिविरों का आयोजन किया जा रहा है, जिनमें 24 विभागों की 60 से अधिक सेवाएं आमजन को एक ही स्थान पर उपलब्ध करवाई जा रही हैं।

जिला कलक्टर जसमीत सिंह संधु स्वयं कर रहे सतत निरीक्षण, प्रशासन पूरी तरह अलर्ट

जिला कलक्टर जसमीत सिंह संधू स्वयं फील्ड में जाकर शिविरों का निरीक्षण कर रहे हैं। वे शिविरों में लाभार्थियों से संवाद कर रहे हैं और अधिकारियों को निर्देश दे रहे हैं कि कोई पात्र व्यक्ति राज्य सरकार की योजनाओं से वंचित न रहे।

उपलब्धियां बनीं प्रेरणा, लोगों को मिल रही राहत

अब तक अनेक ग्रामीणों को स्वामित्व पट्टे वितरित किए जा चुके हैं, सीमाज्ञान व पत्थरगढ़ी प्रकरणों का त्वरित निस्तारण हुआ है, किसानों को मृदा स्वास्थ्य कार्ड व गुणवत्तायुक्त बीज वितरित किए गए हैं तथा महिलाओं को स्वरोजगार योजनाओं से जोड़ा गया है।

इसके साथ ही लंबित राजस्व प्रकरणों का समाधान, जल संरचनाओं से अतिक्रमण हटाने, पेयजल योजनाओं का फिजिकल सत्यापन, नल कनेक्शन वितरण, पशु चिकित्सा शिविर, विद्यालयों में प्रवेशोत्सव और पौधा वितरण जैसे कार्य भी किए जा रहे हैं।

गरीबी मुक्त राजस्थान की दिशा में सार्थक पहल

जिला कलक्टर ने बताया कि इस पखवाड़े के माध्यम से राज्य सरकार के “गरीबी मुक्त राजस्थान” के संकल्प को साकार करने के लिए पंडित दीनदयाल उपाध्याय गरीबी मुक्त गांव योजना के अंतर्गत चयनित परिवारों को योजनाओं से जोड़कर गरीबी रेखा से ऊपर लाने का प्रयास किया जा रहा है।

सभी विभागों का समन्वय और गहन मॉनिटरिंग

नोडल सेल द्वारा शिविरों की सघन मॉनिटरिंग की जा रही है और पोर्टल पर प्रतिदिन की प्रगति रिपोर्ट दर्ज की जा रही है। जिला व ब्लॉक स्तरीय अधिकारी फील्ड में रहकर शिविरों को सफल बना रहे हैं।

पंडित दीनदयाल उपाध्याय अन्त्योदय संबल पखवाड़ा 9 जुलाई तक चलेगा। इस दौरान जिले भर में हजारों लोगों तक जनकल्याणकारी योजनाओं का लाभ पहुंचाने का लक्ष्य निर्धारित किया गया है।

यह पखवाड़ा जिला प्रशासन की संवेदनशीलता और सेवा भाव का परिचायक बनकर उभर रहा है।

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