स्वतंत्रता दिवस 2025:: जश्न मनाएं, पर जिम्मेदारी न भुलाएं; सच्ची देशभक्ति के लिए इन गलतियों से बचें

भीलवाड़ा, । देश अपना 79वां स्वतंत्रता दिवस मनाने की तैयारी कर रहा है। हर तरफ देशभक्ति का माहौल है, और हर भारतीय का दिल गर्व से भरा हुआ है। 15 अगस्त का दिन हमें न केवल अपने स्वतंत्रता सेनानियों के असीम बलिदानों की याद दिलाता है, बल्कि एक जिम्मेदार नागरिक के रूप में हमारे कर्तव्यों का भी बोध कराता है।अक्सर देखा जाता है कि जोश और उत्साह में लोग कुछ ऐसी गलतियां कर बैठते हैं, जो अनजाने में ही राष्ट्र के सम्मान को ठेस पहुंचाती हैं। आइए, इस स्वतंत्रता दिवस पर हम संकल्प लें कि सच्ची देशभक्ति का परिचय देते हुए इन सामान्य लेकिन गंभीर गलतियों से दूर रहेंगे।
तिरंगे की शान, हमारा अभिमान
स्वतंत्रता दिवस पर हाथ में तिरंगा थामना गर्व की बात है, लेकिन यह याद रखना महत्वपूर्ण है कि तिरंगा केवल सजावट की वस्तु नहीं, बल्कि हमारे राष्ट्र की आन-बान-शान का प्रतीक है। अक्सर जश्न खत्म होने के बाद प्लास्टिक या कागज के झंडे सड़कों और कूड़ेदानों में पड़े दिखते हैं। यह 'भारतीय ध्वज संहिता' का स्पष्ट उल्लंघन और राष्ट्र का अपमान है।
क्या करें: कपड़े के झंडे का प्रयोग करें। यदि कागज के झंडे का उपयोग करते हैं, तो समारोह के बाद उसे सम्मान के साथ किसी सुरक्षित स्थान पर रखें या नियमानुसार उसका निस्तारण करें।
राष्ट्रगान का सम्मान, हर नागरिक का कर्तव्य
जब राष्ट्रगान बज रहा हो, तो सभी कार्यों को छोड़कर सावधान की मुद्रा में खड़े होना हर भारतीय का परम कर्तव्य है। इस दौरान फोन पर बात करना, मोबाइल में व्यस्त रहना या आपस में बातचीत करना राष्ट्रगान का घोर अपमान है। यह 52 सेकंड का समय हमारे देश के प्रति सम्मान और कृतज्ञता प्रकट करने का होता है।
जश्न हो, प्रदूषण और उपद्रव नहीं
खुशी जाहिर करने के लिए पटाखों का इस्तेमाल करना या बाइक रैलियों में यातायात नियमों को तोड़ना देशभक्ति नहीं, बल्कि अनुशासनहीनता है। पटाखे न केवल ध्वनि और वायु प्रदूषण फैलाते हैं, बल्कि आग लगने जैसी दुर्घटनाओं का कारण भी बन सकते हैं। इसी तरह, बिना हेलमेट के स्टंटबाजी करना या ट्रैफिक जाम करना जश्न के माहौल को खराब करता है। सच्ची देशभक्ति नियमों का पालन करने में है।
डिजिटल देशभक्ति: अफवाहों से रहें सावधान
आज के डिजिटल युग में सोशल मीडिया पर देशभक्ति का ज्वार उमड़ पड़ता है। लेकिन इसी दौरान कुछ लोग भ्रामक, झूठी खबरें (फेक न्यूज) या किसी समुदाय के खिलाफ नफरत फैलाने वाले पोस्ट भी शेयर करते हैं। ऐसा करना देश की एकता और सद्भाव को नुकसान पहुंचा सकता है।
क्या करें: कोई भी संदेश या पोस्ट साझा करने से पहले उसकी प्रामाणिकता की जांच अवश्य करें।
एकता का संदेश ही सच्ची देशभक्ति है
स्वतंत्रता का असली अर्थ है - एकता, समानता और भाईचारा। जश्न मनाते समय हमें यह सुनिश्चित करना चाहिए कि हमारी किसी भी बात या व्यवहार से किसी भी धर्म, जाति या समुदाय की भावनाओं को ठेस न पहुंचे। भारत की अनेकता में एकता की खूबसूरती को बनाए रखना ही देशभक्ति का सर्वोच्च रूप है।
इस 15 अगस्त, आइए हम सब मिलकर एक जिम्मेदार नागरिक बनें और अपने देश का सम्मान इस तरह से करें कि हमारे स्वतंत्रता सेनानियों का बलिदान सार्थक हो।