ट्रंप-मोदी-पुतिन ने बदला बाजार का सीन, निवेशकों की झोली में आए 9 लाख करोड़

पिछले कुछ हफ्तों से जिस तरह शेयर बाजार लगातार गोता लगा रहा था, उस पर मामूली सा विराम पिछले हफ्ता लगा. करीब 6 हफ्तों के बाद कोई ऐसा हफ्ता आया, जब शेयर बाजार पॉजिटव नोट पर बंद हुआ. साथ ही आने वाले दिनों के लिए एक ऐसी जमीन तैयार हुई. जिससे शेयर बाजार में अच्छी तेजी बनी रहे. पिछले हफ्ते 15 अगस्त के दिन लाल किले के प्राचीर से पीएम नरेंद्र मोदी ने जीएसटी रिफॉर्म 2025 की चर्चा की और साफ संकेत दिया कि देश में जीएसटी के सिर्फ दो ही स्लैब 5 और 18 फीसदी होंगे.
उसके बाद अलास्का में अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप और रूस के प्रेसीडेंट व्लादिमीर पुतिन की बैठक में कुछ पॉजिटिव बातें सामने आई और अगली बैठक मास्कों में होने के संकेत दिए. जिससे साबित होता है कि शांति के दरवाजे बंद नहीं हुए है. दुनिया के इन तीन राष्ट्रkध्यक्षों ने भारत समेत दुनिया के तमाम शेयर बाजारों में नई जान फूंकने का प्रयास किया.
अगर बात भारत की करें तो सेंसेक्स में 1,100 अंकों का उछाल देखने को मिला और निवेशकों ने मात्र 35 मिनट में करीब 9 लाख करोड़ रुपए की कमाई कर डाली. वैसे शेयर बाजार में तेजी के पीछे इन तीन राष्ट्रध्यक्षों के अलावा कुछ और बातों का भी बड़ा हाथ है. एसएंडपी ग्लोबल ने भारत की रेटिंग को पॉजिटिव कर दिया. जिसने शेयर बाजार को बूस्ट करने का काम किया. वहीं दूसरी ओर एशियाई बाजारों में भी अच्छी तेजी देखने को मिली. जिसका असर भारत के शेयर बाजार में देखा गया.
वहीं दूसरी ओर रुपए में अच्छी तेजी देखने को मिल रही है. डॉलर इंडेक्स बीते 5 कारोबारी दिनों में 0.62 फीसदी टूटा है. इन तमाम कारणों से भी शेयर बाजार में इजाफा हुआ है. आइए आपको भी बताते हैं कि आखिर शेयर बाजार में किस तरह के आंकड़े देखने को मिल रहे हैं. साथ ही इन त्रिदेवों के अलावा शेयर बाजार में तेजी के प्रमुख कारणों के बारे में चर्चा करते हैं…
शेयर बाजार में बंपर उछाल
सोमवार को सेंसेक्स में 1,100 अंकों से अधिक की तेजी आई और निफ्टी 25,000 के स्तर के आसपास रहा. अमेरिका और रूसी राष्ट्रपतियों के बीच बैठक के बाद रूसी तेल सप्लाई को लेकर चिंता कम होने और भारत सरकार के प्रस्तावित जीएसटी रिफॉर्म को लेकर आशावाद बढ़ने से तेजी आई. सुबह बीएसई का सेंसेक्स 1,168.11 अंक या 1.44 फीसदी के उछाल के साथ 81,765.77 अंक पर पहुंच गया. एनएसई निफ्टी 390.7 अंक या 1.58 फीसदी की बढ़त के साथ 25,022 अंक पर देखा गया. सेंसेक्स में शामिल कंपनियों में से मारुति के शेयर में 8 फीसदी से ज्यादा की तेजी देखी गई.
वहीं दूसरी ओर बजाज फाइनेंस, अल्ट्राटेक सीमेंट, महिंद्रा एंड महिंद्रा, ट्रेंट और बजाज फिनसर्व भी बढ़त में रहे. दूसरी ओर लार्सन एंड टुब्रो, सन फार्मा, एचसीएल टेक्नोलॉजीज और इंफोसिस के शेयर नुकसान में रहे. मोटर वाहन कंपनियों के शेयर की मांग जोरों पर रही, हीरो मोटोकॉर्प के शेयर में करीब 9 फीसदी का उछाल आया. बीएसई ऑटो इंडेक्स 4.57 फीसदी बढ़कर 56,404.06 पर पहुंच गया.
ऑटो और कंज्यूमर शेयरों में सबसे ज़्यादा तेज़ी रही, जो क्रमशः 3.4 फीसदी और 1.8 फीसदी चढ़े. मिड-कैप और स्मॉल-कैप इंडेक्स में लगभग 1 फीसदी का इजाफा देखने को मिला. एचडीएफसी बैंक और भारतीय स्टेट बैंक जैसे लेडर्स की एसएंडपी रेटिंग में सुधार से वित्तीय शेयरों में 1.6 फीसदी की बढ़त दर्ज की गई. एचडीएफसी बैंक में 1.4 फीसदी और एसबीआई में 0.6 फीसदी की बढ़त दर्ज की गई.
शेयर बाजार में तेजी के प्रमुख कारण
ट्रंप-पुतिन वार्ता
शुक्रवार को अलास्का में रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन से मुलाकात के बाद, अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने यूक्रेन में युद्धविराम की बजाय शांति समझौते को प्राथमिकता दी. जिस पर मास्को की ओर से भी सहमति के संकेत मिले. ट्रंप सोमवार को यूक्रेनी राष्ट्रपति वोलोडिमिर ज़ेलेंस्की और यूरोपीय लीडर्स से कीव के लिए संभावित सुरक्षा गारंटी पर चर्चा करने वाले हैं, हालांकि ठोस प्रस्ताव अभी स्पष्ट नहीं हैं.
ट्रंप-पुतिन वार्ता के बाद वाशिंगटन द्वारा रूसी निर्यात पर नए प्रतिबंध लगाने से पीछे हटने के बाद तेल की कीमतों में गिरावट आई. ट्रंप ने यह भी कहा कि उन्हें अभी भारत और चीन जैसे उन देशों पर जवाबी शुल्क लगाने पर विचार करने की जरुरत नहीं है जो रूसी तेल खरीदना जारी रखे हए हैंं, हालांकि वह “दो या तीन हफ़्तों में” इस मुद्दे पर फिर से विचार कर सकते हैं. इस टिप्पणी ने सप्लाई में तत्काल व्यवधान की आशंकाओं को कम कर दिया.
जीएसटी रिफॉर्म का ऐलान
अमेरिका के साथ ट्रेड टेंशन के बीच विकास को बढ़ावा देने के लिए भारत सरकार की ब्रॉडर टैक्स रिफॉर्म को आगे बढ़ाने की प्लानिंग से भी शेयर बाजार में उत्साह बढ़ा. रॉयटर्स ने एक सरकारी सूत्र के हवाले से बताया कि भारत ने छोटी कारों पर जीएसटी को 28 फीसदी से घटाकर 18 फीसदी करने का प्रस्ताव रखा है. इस कदम से देश की सबसे बड़ी कार निर्माता कंपनी मारुति सुजुकी सहित व्हीकल मेकर्स सेल्स में इजाफा होने की उम्मीद है.
रिपोर्ट में कहा गया है कि केंद्र सरकार छोटी पेट्रोल और डीजल कारों पर जीएसटी को घटाकर 18 फीसदी करने पर भी विचार कर रही है, साथ ही हेल्थ और लाइफ इंश्योरेंस प्रीमियम को मौजूदा 18 फीसदी से घटाकर 5 फीसदी या शून्य भी कर सकती है. अगर ये रिफॉर्म मंजूर हो जाते हैं, तो अक्टूबर में दिवाली तक लागू होने की संभावना है, जो भारत का सबसे बड़ा शॉपिंग सीजन होता है.
एसएंडपी की अपग्रेड रेटिंग
एसएंडपी ग्लोबल रेटिंग्स ने गुरुवार को भारत की लॉन्गटर्म सॉवरेन क्रेडिट रेटिंग को “बीबीबी-” से बढ़ाकर “बीबीबी” कर दिया, और आउटलुक को स्टेबल रखा, जो देश का 18 वर्षों में पहला अपग्रेड है. इस कदम से 10 साल की सरकारी बॉन्ड पर सील्ड लगभग 10 बेसिस प्वाइंट कम होकर 6.4 फीसदी रह गई.
एजेंसी ने कहा कि देश की रेटिंग की अपग्रेड का प्रमुख कारण भारत की मजबूत इकोनॉमिक ग्रोथ, बेहतर मॉनेटरी पॉलिसी विश्वसनीयता और निरंतर फिस्कल सॉलिडिटी है. यह एसएंडपी द्वारा मई में भारत के आउटलुक को स्टेबल से पॉजिटिव करने के फैसले के बाद आया है. भारत की रियल जीडीपी वित्त वर्ष 2022 और 2024 के बीच औसतन 8.8 फीसदी बढ़ी, जो एशिया-प्रशांत में सबसे तेज है.
अगले तीन वर्षों में इसके सालाना 6.8 फीसदी की दर से बढ़ने का अनुमान है. एसएंडपी ने कहा कि यह गति, व्यापक राजकोषीय घाटे के बावजूद सरकार के कर्ज बोझ को कम करने में मदद कर रही है. एजेंसी का अनुमान है कि भारत का कर्ज -जीडीपी अनुपात वित्त वर्ष 2025 के 83 फीसदी से घटकर वित्त वर्ष 2029 तक 78 फीसदी हो जाएगा.
एसएंडपी ने यह भी कहा कि भारत की व्यापार के बजाय घरेलू मांग पर निर्भरता को देखते हुए, अमेरिकी टैरिफ का सीमित प्रभाव पड़ने की संभावना है. फिच ने 2006 से भारत को “BBB-” रेटिंग दी है, जबकि मूडीज ने 2020 से इसे “Baa3” रेटिंग दी है.
एशियाई बाजारों में तेजी
सोमवार को एशियाई शेयर बाजारों में तेजी दर्ज की गई, जबकि रूस से आपूर्ति में व्यवधान की आशंका कम होने से तेल की कीमतों में गिरावट आई. जापान और ताइवान के बेंचमार्क इंडेक्स रिकॉर्ड ऊंचाई पर पहुंच गए, जबकि चीनी ब्लूचिप्स 10 महीनों में अपने सबसे मजबूत स्तर पर पहुंचे. जापान के बाहर एशिया-प्रशांत शेयरों का ब्रॉडर MSCI इंडेक्स पिछले सप्ताह चार साल के उच्चतम स्तर पर पहुंचने के बाद थोड़ा कम हुआ. चीनी ब्लूचिप्स 1 फीसदी बढ़े, जिससे तिमाही लाभ लगभग 8 फीसदी हो गया.
जापान का निक्केई 0.9 फीसदी बढ़कर एक और रिकॉर्ड पर पहुंच गया, जिसे ग्लोबल मॉनेटरी स्थितियों में सुधार की उम्मीदों का समर्थन प्राप्त था. बाजार फेडरल रिजर्व की 17 सितंबर की बैठक में चौथाई अंकों की कटौती की 85 फीसदी संभावना पर अनुमान लगा रहे हैं, साथ ही व्यापारी साल के अंत तक और अधिक ढील की उम्मीद कर रहे हैं.
इस सप्ताह का मुख्य आकर्षण 21 से 23 अगस्त तक आयोजित होने वाले फेडरल रिजर्व के जैक्सन हॉल संगोष्ठी पर होगा, जहां अध्यक्ष जेरोम पॉवेल द्वारा इकोनॉमिक आउटलुक और पॉलिसी रूट की रूपरेखा सामने रख सकते हैं. यूरोप में, वायदा कारोबार में मामूली बढ़त देखी गई, जिसमें यूरो स्टॉक्स 50 और एफटीएसई वायदा कारोबार में 0.2 फीसदी और जर्मनी के डीएएक्स वायदा कारोबार में 0.1 फीसदी की वृद्धि हुई.
रुपए में आई तेजी
शेयर बाजार में तेजी के प्रमुख कारणों में रुपए में तेजी भी रही. घरेलू शेयर बाजारों में सकारात्मक रुख के बीच रुपया सोमवार को शुरुआती कारोबार में 20 पैसे की बढ़त के साथ अमेरिकी डॉलर के मुकाबले 87.39 पर पहुंच गया. विदेशी मुद्रा कारोबारियों ने बताया कि भारत और अमेरिका के बीच व्यापार शुल्क के मुद्दे पर अनिश्चितता के बीच बाजार सहभागियों के सतर्क रहने की संभावना है.
इंटरबैंक फॉरेन करेंसी एक्सचेंज मार्केट में, अमेरिकी डॉलर के मुकाबले रुपया 87.46 पर खुला. फिर 87.39 प्रति डॉलर पर पहुंच गया जो पिछले बंद भाव से 20 पैसे की बढ़त दर्शाता है. रुपया गुरुवार को अमेरिकी डॉलर के मुकाबले 87.59 पर बंद हुआ था. स्वतंत्रता दिवस के अवसर पर शुक्रवार को मुद्रा एवं शेयर बाजार बंद थे.
निवेशकों को करीब 9 लाख करोड़ का फायदा
अगस्त महीने के सेकंड हाफ में निवेशकों को बड़ी राहत मिली है. सेकंड हाफ की शुरुआत काफी पॉजिटिव रही जिसकी वजह से निवेशकों को मात्र 35 मिनट में करीब 9 लाख करोड़ रुपए का फायदा हुआ है. गुरुवार को जब शेयर बाजार बंद हुआ था तो बीएसई का मार्केट कैप 4,44,78,611.27 करोड़ रुपए था, जोकि सोमवार को कारोबारी सत्र के दौरान 4,53,47,885.19 करोड़ रुपए पहुंच गया. इसका मतलब है कि सोमवार को शेयर बाजार के प्रमुख सूचकांक के मार्केट कैप में करीब 9 लाख करोड़ रुपए की बढ़ोतरी देखने को मिली. वैसे दोपहर करीब 1 बजे सेंसेक्स करीब 800 अंकांं की तेजी के साथ कारोबार कर रहा है. साथ ही बीएसई का मार्केट कैप 4,51,38,078.93 करोड़ रुपए पर आ गया.
