भारत की विदेश नीति में महिलाओं के नेतृत्व वाले विकास का योगदान', प्रवासी भारतीय दिवस पर बोले जयशंकर
केंद्रीय विदेश मंत्री एस. जयशंकर ने महिलाओं के नेतृत्व वाले विकास को देश की विदेश नीति में एकीकृत करने की भारत की प्रतिबद्धता पर जोर दिया। नारी शक्ति विषय पर प्रवासी भारतीय दिवस पैनल में बोलते हुए उन्होंने बताया कि महिलाओं के नेतृत्व वाला विकास भारत की विदेश नीति का एक हिस्सा रहा है। इसके साथ ही उन्होंने विकसित भारत की दिशा में महिलाओं की भूमिका पर भी बात की।
महिलाओं के नेतृत्व वाले विकास पर जोर दिया
जी 20 शिखर सम्मेलन का हवाला देते हुए विदेश मंत्री ने कहा, "जब हमने जी 20 की मेजबानी की, तब हमने महिलाओं के नेतृत्व वाले विकास पर जोर दिया। इसे जी20 के वैचारिक ढांचे से स्वीकार कर लिया।" उन्होंने आगे कहा, "हम विशेषकर दक्षिण के देशों के साथ कई सारे विकास सहयोग करते हैं। हम 78 देशों में परियोजनाओं और क्षमता निर्माण के जरिए अलग-अलग तरीके से मौजूद हैं।"
इस बारे में बात करते हुए कि कैसे महिलाओं का विकास आंतरिक रूप से विकसित भारत के विचार से जुड़ा है। जयशंकर ने कहा, "अगर आप इन मुद्दों का समाधान नहीं करते तब तक आप विकसित भारत की तरफ नहीं बढ़ सकते हैं। यदि भारत को एक आधुनिक, औद्योगिक, तकनीक-केंद्रित समाज बनना है तो हम 50 प्रतिशत प्रतिभा की उपेक्षा नहीं कर सकते।" केंद्रीय मंत्री ने रोल मॉल के महत्व पर प्रकाश डाला।
8-10 जनवरी तक भुवनेश्वर में आयोजित हुआ प्रवासी भारतीय दिवस
बता दें कि प्रवासी भारतीय दिवस सम्मेलन का आयोजन आठ से 10 जनवरी तक भुवनेश्वर में किया गया। यह भारत सरकार का प्रमुख आयोजन है, जिसमें भारतीय प्रवासियों को जुड़ने और उन्हें एक-दूसरे के साथ बातचीत करने में सक्षम बनाने के लिए एक मंच प्रदान किया जाता है। इसका थीम विकसित भारत में प्रवासी भारतीयों का योगदान है। इस कार्यक्रम में शामिल होने के लिए 50 से अधिक विभिन्न देशों से बड़ी संख्या में भारतीय प्रवासी सदस्यों ने पंजीकरण कराया।