मोरवन में 350 करोड़ की टेक्सटाइल फैक्ट्री को लेकर विवाद गहराया, ग्रामीणों ने किया अनिश्चितकालीन आंदोलन का ऐलान
नीमच (कमलेश सारड़ा)। मोरवन क्षेत्र में प्रस्तावित 350 करोड़ की टेक्सटाइल फैक्ट्री को लेकर विवाद लगातार गहराता जा रहा है। गुरुवार को हुए हिंसक घटनाक्रम के बाद शुक्रवार को मोरवन नगर पूरी तरह बंद रहा। ग्रामीणों ने गिरफ्तार लोगों की रिहाई और फैक्ट्री निर्माण पर रोक की मांग को लेकर अनिश्चितकालीन आंदोलन की घोषणा की है।
पुलिस ने गुरुवार की हिंसा के बाद विभिन्न धाराओं में करीब 40 लोगों पर मामला दर्ज किया था। इनमें राजकुमार अहीर, पूरण अहीर, पवन, शौकीन और दीपक को हिरासत में लिया गया था। देर रात राजकुमार अहीर और पूरण अहीर को जमानत पर रिहा कर दिया गया, जबकि अन्य तीन अब भी पुलिस हिरासत में हैं।
जमानत मिलने के बाद राजकुमार अहीर और पूरण अहीर ने कहा— “आज मोरवन में जो कुछ हुआ, वैसा नहीं होना चाहिए था। हमारी लड़ाई अहिंसक तरीके से चलती रहेगी। यह आंदोलन केवल फैक्ट्री विरोध नहीं, बल्कि पानी, जमीन और आने वाली पीढ़ियों की सुरक्षा के लिए है।”
जानकारी के अनुसार, गुरुवार को महिलाओं की अगुवाई में निकली शांतिपूर्ण रैली दोपहर बाद उग्र रूप ले बैठी। सैकड़ों ग्रामीण फैक्ट्री परिसर में घुस गए, जहां वाहनों में तोड़फोड़ और कर्मचारियों पर पथराव किया गया। पुलिस ने देर शाम तक मोर्चा संभालते हुए कार्रवाई की और प्रमुख नेताओं को गिरफ्तार किया।
शुक्रवार को पूरे नगर में बाजार, दुकानें और प्रतिष्ठान पूरी तरह स्वेच्छा से बंद रहे। पुलिस बल की तैनाती के साथ प्रशासनिक अधिकारी हालात पर नजर रखे हुए हैं।
ग्रामीणों ने चेतावनी दी है कि जब तक सभी गिरफ्तार ग्रामीणों को रिहा नहीं किया जाता और फैक्ट्री निर्माण पर रोक नहीं लगती, वे आंदोलन से पीछे नहीं हटेंगे। कई सामाजिक और किसान संगठनों ने भी इस आंदोलन को समर्थन दिया है।
फिलहाल मोरवन में स्थिति नियंत्रण में बताई जा रही है, लेकिन तनाव का माहौल अभी भी महसूस किया जा रहा है। प्रशासन दोनों पक्षों के बीच संवाद और समाधान की कोशिशों में जुटा हुआ है।
