PM मोदी ने मोटापे पर चिंता जताई, सीआरपीएफ डीजी ने बनाया 3.25 लाख कर्मियों को फिट रखने का प्लान

देश के सबसे बड़े केंद्रीय अर्धसैनिक बल 'सीआरपीएफ' में अब मोटापे को लेकर एक बड़ा अभियान शुरु किया जाएगा। दरअसल, इस अभियान को प्रारंभ करने के पीछे पीएम मोदी की एक चिंता रही है। पीएम मोदी ने 'मन की बात' कार्यक्रम में मोटापे की बढ़ती समस्या और इसके स्वास्थ्य पर पड़ने वाले प्रतिकूल प्रभावों पर चिंता व्यक्त की है। उन्होंने 2022 में विश्व स्वास्थ्य संगठन द्वारा जारी आंकड़ों का हवाला दिया, जिसमें बताया गया कि विश्वभर में लगभग 2.5 अरब लोग अधिक वजन के शिकार हैं। इस समस्या की गंभीरता को देखते हुए, उन्होंने नागरिकों से स्वस्थ जीवनशैली अपनाने, संतुलित आहार लेने और खाद्य तेल की खपत को 10 प्रतिशत तक कम करने का आग्रह किया। अब सीआरपीएफ डीजी ने भी बल के 3.25 लाख जवानों और अफसरों को फिट रखने का प्लान तैयार कर दिया। इसके लिए 16 अगस्त 2025 से एक अभियान की शुरुआत होगी। सबसे पहले डीजी सीआरपीएफ जीपी सिंह, स्वयं बीएमआई परीक्षण कराकर इस अभियान की औपचारिक शुरुआत करेंगे। इसके बाद, सीआरपीएफ के सभी कर्मियों को बॉडी मास इंडेक्स 'बीएमआई' जांच से गुजरना अनिवार्य होगा।
पीएम मोदी ने गत माह अपने 'मन की बात' कार्यक्रम में बढ़ते मोटापे पर चिंता जताई थी। उन्होंने खाने के तेल की खपत 10 प्रतिशत तक कम करने का चैलेंज दिया। प्रधानमंत्री मोदी ने उमर अब्दुल्ला और आनंद महिंद्रा सहित 10 लोगों को नॉमिनेट किया है। उनसे नए 10 लोगों को नॉमिनेट करने की अपील की है ताकि यह अभियान और व्यापक हो। सूत्रों के मुताबिक, सीआरपीएफ में इस प्रक्रिया की डिजिटल रूप से निगरानी, रिकॉर्डिंग और संकलन किया जाएगा। यह पूरी प्रक्रिया 15 अक्टूबर 2025 तक पूरी होगी। इस अभियान में उन कर्मियों को परीक्षण का स्वैच्छिक विकल्प प्रदान किया गया है, जो अपनी सेवा के अंतिम दो वर्षों में हैं। बीएमआई परीक्षण की सटीकता और पारदर्शिता सुनिश्चित करने के लिए निगरानी व डिजिटल रिकॉर्डिंग की जाएगी। अन्य रैंक (ओआर) बॉडी वेट माप को अस्पताल कर्मियों द्वारा कंपनी कमांडर की उपस्थिति में दर्ज कराएंगे।
अफसरों का माप संबंधित मुख्यालय प्रमुख की उपस्थिति में होगा। वरिष्ठ अधिकारियों का माप, निरीक्षण सेक्टर, जोन और निदेशालय स्तर पर किया जाएगा। इस प्रक्रिया के पूरा होने के बाद बल का मेडिकल निदेशालय एकत्रित आंकड़ों का संकलन कर अंतिम रिपोर्ट तैयार करेगा। सभी इकाइयां, सेक्टर और जोन स्तर पर डेटा तैयार किया जाएगा। इसके लिए प्रोफार्मा बनाया गया है। उसमें क्रम संख्या, रैंक, नाम, जन्म तिथि, ऊँचाई, वजन और बीएमआई शामिल रहेगा। इसके अलावा, सभी कर्मियों को अपनी बीएमआई रिपोर्ट देखने और ट्रैक करने के लिए 'संभव' डिजिटल प्लेटफॉर्म प्रदान किया जाएगा। इस अभियान का मुख्य उद्देश्य कर्मियों को स्वस्थ जीवनशैली के प्रति प्रेरित करना है, न कि इसे दंडात्मक उपाय के रूप में लागू करना। हालांकि, सभी रैंकों के कर्मियों की पोस्टिंग के निर्णय में फिटनेस और बीएमआई को एक महत्वपूर्ण कारक के रूप में शामिल किया जाएगा। साल 2026 से, बीएमआई परीक्षण को वार्षिक चिकित्सा परीक्षा में एक अनिवार्य नियम के रूप में जोड़ा जाएगा।
जिन कर्मियों का बीएमआई 30+ (मोटापा वर्ग) होगा, उन्हें चिकित्सकीय देखरेख में वजन कम करने के लिए एक विशिष्ट समय सीमा दी जाएगी। एडीजी ट्रेनिंग, अधिक वजन वाले कर्मियों के लिए विशेष प्रशिक्षण और पोषण कार्यक्रम तैयार करेंगे। खेल कर्मियों के मामले में, उनकी मांसपेशियों का द्रव्यमान भी बीएमआई आकलन में एक महत्वपूर्ण कारक माना जाएगा। स्वस्थ बीएमआई बनाए रखने के उपाय भी बताए जाएंगे। जैसे संतुलित आहार, जिसमें साबुत अनाज, प्रोटीन, फल और सब्जियां शामिल की जाएंगी। कर्मियों को अधिक तेल, चीनी और प्रोसेस्ड फूड से बचने के लिए कहा जाएगा।
जरूरत से ज्यादा खाने से बचने के लिए पोर्टियन कंट्रोल अपना सकते हैं। पर्याप्त मात्रा में पानी पिएं और नियमित व्यायाम करें। प्रतिदिन 30–60 मिनट की शारीरिक गतिविधि करें (जैसे पैदल चलना, दौड़ना, तैराकी या साइकिल चलाना)। मांसपेशियों को मजबूत करने के लिए स्ट्रेंथ ट्रेनिंग करें। लंबे समय तक बैठने से बचें। बीएमआई और वजन की नियमित निगरानी करें।
बीएमआई की गणना करने के लिए ये सूत्र अपनाना होगा
BMI = वजन (kg) ÷ ऊँचाई² (m²) वजन में बदलाव को ट्रैक करें और जरूरत के अनुसार जीवनशैली में बदलाव करें। प्रतिदिन 7–8 घंटे की नींद लेने की सलाह दी गई है। तनाव को कम करने के लिए योग, ध्यान और अन्य तकनीकों का सहारा लें। शराब और धूम्रपान से बचें, क्योंकि ये वजन बढ़ाने और चयापचय संबंधी विकारों का कारण बन सकते हैं। वास्तविक लक्ष्य निर्धारित करें। यदि आपका वजन अधिक है, तो 0.5 – 1 किलोग्राम प्रति सप्ताह का लक्ष्य रखें। शॉर्ट-टर्म डाइटिंग की बजाय लॉन्ग-टर्म स्वास्थ्य पर ध्यान दें।