आर्थराइटिस के इलाज में पंचकर्म फिजियोथेरेपी से ज्यादा कारगर साबित

जोड़ों के दर्द (आर्थराइटिस/संधिवात) के इलाज में पंचकर्म चिकित्सा फिजियोथेरेपी से ज्यादा असरदार है। पंडित खुशीलाल शर्मा शासकीय आयुर्वेद कॉलेज, भोपाल के पंचकर्म विभाग में हुए शोध में यह निष्कर्ष सामने आया है।
कॉलेज में 40 मरीजों पर हुए इस अध्ययन में 20 को पंचकर्म और 20 को फिजियोथेरेपी दी गई। पंचकर्म वाले मरीजों को घुटनों पर गाय का घी (गो-घृत) लगाया गया और 21 दिन तक सुबह-शाम अश्वगंधा चूर्ण दिया गया। वहीं, फिजियोथेरेपी वाले मरीजों को इंटरफेसियल थेरेपी (हल्का करंट) और हाइड्रोकोलेटर पैक्स से सिकाई की गई।
इसके बाद वोमैक स्केल और सांख्यिकी पैमानों से दोनों समूहों के स्वास्थ्य लाभ का आकलन किया गया। नतीजों में सामने आया कि पंचकर्म कराने वाले मरीजों को फिजियोथेरेपी की तुलना में 10 से 43 प्रतिशत तक अधिक राहत मिली।
शोध में दर्द, कठोरपन (स्टिफनेस), चलने-फिरने की क्षमता (फिजिकल फंक्शन), सूजन और एक्स-रे के आधार पर घुटनों में गैप जैसी स्थितियों की ग्रेडिंग की गई। सभी मरीजों का 21 दिन बाद फॉलो-अप भी किया गया।
डॉ. कामिनी सोनी, विभागाध्यक्ष, पंचकर्म विभाग ने बताया कि इस अध्ययन से साफ है कि पंचकर्म चिकित्सा आर्थराइटिस से पीड़ित मरीजों के लिए अधिक प्रभावी विकल्प हो सकती है। शोध डॉ. ममता धुर्वे के मार्गदर्शन में पूरा हुआ।
