Uproar over death of 4 year old girl after injection, blame falls on doctor and ANM: इंजेक्शन के बाद 4 साल की बच्ची की मौत पर हंगामा, डॉक्टर और ANM पर गिरी गाज

इंजेक्शन के बाद 4 साल की बच्ची की मौत पर हंगामा, डॉक्टर और ANM पर गिरी गाज
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बाड़मेर:

बाड़मेर जिले के बिजराड़ थाना क्षेत्र के मिठड़ाऊ प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र (PHC) में इलाज के दौरान एक 4 वर्षीय मासूम जसोदा की मौत हो गई। परिजनों ने इंजेक्शन और दवाई दिए जाने के बाद बच्ची की तबीयत बिगड़ने का गंभीर आरोप लगाया है। मामले की गंभीरता को देखते हुए CMHO विष्णुराम विश्नोई ने तुरंत कार्रवाई करते हुए इलाज करने वाले डॉक्टर रमेश और एएनएम शांता को एपीओ (अवेटिंग पोस्टिंग ऑर्डर) कर दिया है।

इलाज के बाद बेहोश हुई बच्ची, घर से वापस लाए तो मृत घोषित

बच्ची के पिता अरविंद कुमार ने बताया कि उनकी बेटी जसोदा को मंगलवार से बुखार आ रहा था। गुरुवार को उसे मिठड़ाऊ PHC ले जाया गया, जहाँ दवा दी गई, लेकिन आराम नहीं मिला।





शुक्रवार की घटना: शुक्रवार दोपहर करीब 1 बजे बच्ची की माँ रूखी देवी उसे दोबारा PHC लेकर गईं। पिता का आरोप है कि यहाँ डॉक्टर रमेश पुंजानी और नर्सिंगकर्मी शांति देनी ने जसोदा को इंजेक्शन और दवाइयाँ दीं।

तबीयत बिगड़ी: दवा और इंजेक्शन दिए जाने के कुछ देर बाद ही जसोदा की तबीयत बिगड़ने लगी और वह बेहोश हो गई।

मृत घोषित: स्टाफ ने बच्ची को बेहोशी की हालत में ही घर भेज दिया। घर पहुँचते ही हालत और बिगड़ने पर परिजन बच्ची को वापस हॉस्पिटल लेकर आए, जहाँ डॉक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया।

डॉक्टर का दावा: निमोनिया था, चौहटन ले जाने को कहा था

वहीं, इलाज करने वाले डॉक्टर रमेश पुंजानी का इस मामले पर अलग पक्ष है। उनका कहना है कि बच्ची को निमोनिया था और उन्होंने परिजनों को उसे चौहटन (उप जिला अस्पताल) ले जाने की सलाह दी थी, लेकिन परिजन उसे घर ले गए।





मासूम जसोदा की मौत के बाद उसके शव को चौहटन उप जिला अस्पताल की मॉर्च्युरी में शिफ्ट कर दिया गया है। इस घटना ने स्वास्थ्य केंद्र की कार्यशैली और इलाज के तरीकों पर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं, जिसकी जाँच जारी है

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