लड्डू गोपाल को स्नान कराते वक्त अपनाएं ये तरीके, प्रसन्न होंगे भगवान

लड्डू गोपाल की पूजा और उनकी सेवा में विशेष आस्था और श्रद्धा होती है. भारतीय परंपरा में यह माना जाता है कि लड्डू गोपाल को स्नान कराते समय कुछ खास बातों का ध्यान रखना चाहिए, ताकि वे प्रसन्न हों और आपके घर में सुख-समृद्धि का वास हो. सही तरीके से स्नान कराना न केवल भगवान की कृपा प्राप्त करने का एक उपाय है बल्कि यह पूजा को और भी अधिक प्रभावशाली बनाता है. जानिए लड्डू गोपाल को स्नान कराते वक्त अपनाएं जाने वाले ये खास तरीके जिनसे भगवान की कृपा आप पर हमेशा बनी रहती है.
शुद्ध और ताजे जल का उपयोग: लड्डू गोपाल को हमेशा शुद्ध और ताजे जल से स्नान करवाना चाहिए.
चरणामृत का सही उपयोग: स्नान के बाद बचे हुए जल यानी चरणामृत को फेंकना गलत है. इसे प्रसाद के रूप में ग्रहण करना चाहिए और दूसरों में वितरित करना चाहिए.
हथेली से चरणामृत पिएं: चरणामृत को चम्मच या गिलास से पीने की बजाय हथेली में लेकर पीना चाहिए.
पंचामृत का प्रयोग: लड्डू गोपाल को रोज पंचामृत से स्नान कराया जाता है.पंचामृत तैयार करते समय दूध और दही ताजे होने चाहिए.
पंचामृत में ताजे दूध और दही का उपयोग: पंचामृत बनाने के लिए बासी दही या पुराना दही नहीं इस्तेमाल करना चाहिए. दूध शुद्ध और पका हुआ होना चाहिए.
स्नान करते समय खड़ा न हो: लड्डू गोपाल को स्नान करवाने के दौरान खड़े होकर स्नान न कराएं बल्कि एक आसन पर बैठकर उन्हें स्नान करवाना चाहिए.
पंचामृत और चरणामृत का निपटारा: स्नान के बाद बचा हुआ पंचामृत और चरणामृत फेंकने के बजाय प्रसाद के रूप में वितरित करें.
अधिक बचा होने पर: अगर पंचामृत या चरणामृत अधिक बच जाए तो इसे गाय या बछड़े को पिला सकते हैं. अगर गाय नहीं है तो इसे पीपल या बरगद जैसे पवित्र पेड़ की जड़ में डाल सकते हैं.
दूसरे जानवरों को न दें: इन दोनों चीजों को किसी अन्य जानवर को न दें.