हाई कोर्ट का फैसला:: अब विवादित गोशालाओं को नहीं मिलेगा अनुदान

जोधपुर। राजस्थान हाई कोर्ट की जोधपुर पीठ ने राज्य सरकार के पक्ष में एक महत्वपूर्ण फैसला सुनाते हुए कहा है कि जिन गोशालाओं की जमीन या उनकी कार्यकारिणी को लेकर अदालत में विवाद चल रहा है, उन्हें सरकारी अनुदान नहीं दिया जाएगा।
जस्टिस डॉ. पुष्पेंद्र सिंह भाटी और जस्टिस बिपिन गुप्ता की खंडपीठ ने यह आदेश चूरू जिले की सरदारशहर स्थित श्री गोशाला समिति की जनहित याचिका पर सुनवाई करते हुए 10 दिसंबर को दिया।
गाइडलाइन का नियम सही: कोर्ट
कोर्ट ने गोपालन विभाग की 3 मार्च 2023 की गाइडलाइन के क्लॉज–19 को वैध ठहराया, जिसमें विवाद सुलझने तक अनुदान रोकने का प्रावधान है।
कोर्ट ने कहा कि सार्वजनिक धन की सुरक्षा के लिए यह नियम आवश्यक है।
याचिकाकर्ता का पक्ष
याचिकाकर्ता ने दलील दी कि—
कई गोशालाएं विधिवत पंजीकृत हैं और विभाग से मान्यता प्राप्त हैं।
वे सभी शर्तें पूरी करती हैं, लेकिन सिर्फ क्लॉज–19 के कारण उन्हें अनुदान नहीं मिल रहा।
इससे गोशाला में रखी गायों के चारे, पानी और उपचार पर संकट खड़ा हो रहा है, जो पशु क्रूरता के समान है।
यह नियम संविधान के अनुच्छेद 14 और 21 का उल्लंघन करता है।
सरकार का पक्ष
राज्य सरकार ने कोर्ट में तर्क दिया कि—
अनुदान सार्वजनिक धन है।
यदि किसी गोशाला की जमीन या प्रबंधन को लेकर विवाद हो, तो पैसा गलत हाथों में जा सकता है।
इसलिए विवाद समाप्त होने तक अनुदान रोकना उचित है।
