30 अप्रैल तक नाम न हटाने पर होगी दंडात्मक कार्रवाई, 18,901 उपभोक्ताओं ने हटाए नाम

30 अप्रैल तक नाम न हटाने पर होगी दंडात्मक कार्रवाई, 18,901 उपभोक्ताओं ने हटाए नाम
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चित्तौड़गढ़, 28 मार्च। राज्य सरकार की "गिव अप" योजना में अब तक बड़ी संख्या में उपभोक्ताओं के नाम हटाए जा चुके हैं। योजना के तहत वे उपभोक्ता जो अयोग्य श्रेणी में आते हैं, उन्हें खाद्य सुरक्षा योजना से बाहर किया जा रहा है। इस योजना की अवधि पहले 31 मार्च तक थी, जिसे राज्य सरकार ने बढ़ाकर 30 अप्रैल कर दिया है।

इस योजना के पात्र उपभोक्ता वह हैं जिनके पास चार पहिया वाहन हैं, परिवार की वार्षिक आय एक लाख रुपये से अधिक है, वे आयकर दाता हैं या उनके परिवार में कोई सदस्य सरकारी/अर्द्ध सरकारी या स्वायत्तशासी संस्थाओं में अधिकारी या कर्मचारी है। इसके अलावा, ऐसे उपभोक्ता जो खाद्य सुरक्षा नियम 2003 की अनुसूची-1 में शामिल नहीं हैं और जो खाद्य सुरक्षा योजना से गेहूं प्राप्त करने के पात्र नहीं हैं, उन्हें भी इस योजना के तहत बाहर किया जा रहा है।

अब तक 18,901 उपभोक्ताओं के नाम स्वेच्छा से हटाए जा चुके हैं, जिनमें नोटिस जारी करने के बाद भी शामिल हैं। इस सप्ताह में 23 नए आवेदकों का निष्कासन किया गया है। यदि कोई उपभोक्ता 30 अप्रैल तक अपनी स्वेच्छा से नाम नहीं हटाता है, तो उस पर दंडात्मक कार्यवाही की जाएगी।

जिला रसद अधिकारी ने अपील की है कि सभी उपभोक्ता जो इस श्रेणी में आते हैं, वे जल्द से जल्द अपनी प्रक्रिया पूरी करें। फार्म भरने के लिए उपभोक्ता संबंधित उचित मूल्य दुकानदारों के पास, प्रवर्तन अधिकारियों/निरीक्षकों के पास या जिला रसद कार्यालय चित्तौड़गढ़ में आवेदन कर सकते हैं।

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