जिला बाल संरक्षण इकाई की समीक्षा बैठक आयोजित
चित्तौड़गढ़। जिला कलक्टर आलोक रंजन ने बुधवार को जिला बाल संरक्षण इकाई की समीक्षा बैठक में अधिकारियों को निर्देश देते हुए कहा कि बच्चों एवं युवाओं में नशे की प्रवृति विकसित नहीं हो इस हेतु विद्यालय स्तर पर नशा विरोधी एवं जनजागरुकता एवं नशे के दुष्प्रभावों से बच्चों को अवगत कराया जाए, ताकि वह नशावृति से दूर रह सके, इस हेतु जिले के सभी वि़द्यालयों में कार्यक्रम आयोजित किए जाए।
उन्होंने बालश्रम, भीक्षावृति में लिप्त बच्चों के चिन्हिरण एवं पुनर्वास हेतु सतत् अभियान के रुप में कार्य करने हेतु निर्देशित किया। उन्होंने बच्चों को गुड टच बेड टच, बाल अधिकारों के प्रति जागरुक कर उनके अधिकारों के बारे में अवगत कराने की आवश्यकता पर बल दिया।
जिला बाल संरक्षण इकाई की समीक्षा बैठक में अतिरिक्त जिला कलक्टर भू.अ. सुरेन्द्र सिंह पुरोहित ने बालकों के विरु़द्ध दर्ज अपराधों पर त्वरित कार्यवाही करने, देखरेख एवं संरक्षण की आवश्यकता वाले बच्चों को चिन्हित कर उनके सर्वांगीण विकास हेतु कार्य कर उनके पुनर्वास हेतु सभी प्रयास करने हेतु निर्देशित किया। उन्होंने कोटपा एक्ट के तहत सार्वजनिक स्थलों पर धूम्रपान करने वालों के विरुद्ध कार्यवाही करने हेतु भी निर्देशित किया।
बाल अधिकारिता विभाग के सहायक निदेशक ओमप्रकाश तोषनीवाल ने गत बैठक की पालना रिपोर्ट प्रस्तुत करते हुए ऐजेण्डानुसार प्रत्येक विषय पर विभिन्न विभागों से प्राप्त प्रगति रिपोर्ट से अवगत कराया। बाल कल्याण समिति अध्यक्ष प्रियंका पालीवाल, किशोर न्याय बोर्ड सदस्य अरुणा राठौड़, उप निदेशक सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता विभाग अषिन शर्मा, औषधि निरीक्षक रुपाली पाठक, चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग के राजेन्द्र खटीक ने भी अपने सुझाव प्रस्तुत किए।
बैठक में बाल कल्याण समिति सदस्य शिव दयाल सिंह लखावत, सीमा भारती, ओमप्रकाश लक्षकार, मानव तस्करी विरोधी यूनिट से नवटर पटवा, श्रम विभाग से लेबर इंसपेक्टर मुकेश कुमार, अधीक्षक राजकीय सम्प्रेषण किशोर गृह चन्द्रप्रकाश जीनगर, बाल गृह बस्सी प्रभारी राम गोपाल ओझा, ज्ञाऩदीप केयर होम प्रभारी धर्मचन्द्र सुहालका, चाइल्ड हेल्प लाईन कार्यक्रम समन्वयक नवीन काकड़दा, काउंसलर करण जीनवाल, टीम मेम्बर इरफान उपस्थित थे।