कलक्टर ने ली जिला सहकारी विकास समिति की बैठक
राजसमंद। प्रमुख शासन सचिव सहकारिता विभाग के निर्देशानुसार राजसमन्द जिले में जिला सहकारी विकास समिति की बैठक मंगलवार को जिला कलक्टर डॉ भंवर लाल की अध्यक्षता में हुई। बैठक में नरेश बुनकर अतिरिक्त जिला कलेक्टर राजसमन्द, आलोक चौधरी उप रजिस्ट्रार सहकारी समितियां राजसमन्द, पुरूषोत्तम पतकी संयुक्त निदेशक पशुपालन विभाग राजसमन्द, के.सी. मेघवंशी संयुक्त निदेशक कृषि विभाग, लखपत मीणा मत्सय विभाग, आलोक चौधरी प्रबन्ध निदेशक केन्द्रीय सहकारी बैंक लि. उदयपुर, वरूण चण्डालिया, प्रबन्ध निदेशक जिला दुग्ध संघ एंव हरिओम सिंह राणा, उपनिदेशक, उद्यानिकी विभाग, उपस्थित रहे।
बैठक के प्रारम्भ में उप रजिस्ट्रार सहकारी समितियां आलोक चौधरी ने बताया कि भारत सरकार की सहकार से समृद्धि के तहत सहकारिता क्षेत्र में 54 प्रमुख इनिशियेटिव की शुरूआत की गई है जिसके तहत राजसमन्द जिले में पैक्स को बहुउददेशीय बनाने के लिए आदर्श उपविधियों का पंजीकरण किया जा चुका है तथा 49 पैक्स विहिन ग्राम पंचायतो में पैक्स, डेयरी सोसायटी, फिशरी सोसायटी खोलने हेतु श्रीमान जिला कलक्टर महोदय द्वारा मत्स्य विभाग एवं पशुपालन विभाग को पैक्स विहिन ग्राम पंचायतो में फिशरीज समितियां एवं डेयरी समितिया खोलने हेतु निर्देश दिये गये। पैक्स कम्प्यूटराईजेशन के तहत राजसमन्द क्षेत्र की 42 समितियां गो लाईव हो चुकी है, विश्व की सबसे बडी अनाज भण्डारण योजना के तहत जिले की राज्यावास ग्राम सेवा सहकारी समिति पंचायत समिति राजसमन्द में गोदाम निर्माण करवाने का निर्णय लिया गया है।
समितियों की आय स्त्रोत बढाने के लिये उन्हे कॉमन सर्विस सेन्टर के रूप में काम करने वाली ग्राम सेवा सहकारी समितियों की व्यवस्थापकों हेतु प्रशिक्षण देने हेतु प्रशिक्षण कार्यक्रम आयोजित किये जाने हेतु निर्देश दिये गये। जन औषधि केन्द्र, पीएम कुसुम योजना एवं प्रधानमंत्री किसान समृद्धि केन्द्र के रूप में कार्य करने के लिए समितियो को प्रेरित करने का निर्णय किया गया। समितियों को राष्ट्रीय स्तर पर पहचान दिलाने के लिए राष्ट्रीय सहकारी निर्यात लि., भारतीय बीज सहकारी समिति लि., राष्ट्रीय सहकारी ओर्गेनिक लि. की सदस्यता लेने हेतु निर्देशित किया गया।
साथ ही उनके द्वारा बताया गया कि समितियों को बैंक मित्र के रूप में कार्य करने हेतु नाबार्ड द्वारा राजसमंद जिले की 6 पैक्स में माईक्रो एटीएम लगाने हेतु स्वीकृति प्राप्त हुई एवं नेशनल कॉपरेटिव डेटाबेस पर समस्त सहकारी समितियों का डेटा पूर्ण किया जा चुका है। तत्पश्चात् बैठक सधन्यवाद समाप्त की गई