भगवान बिरसा मुण्डा की 150वीं जयन्ती पर होंगे विविध आयोजन

उदयपुर, । भगवान बिरसा मुण्डा की 150वीं जयंती, जनजातीय गौरव दिवस के अवसर पर केन्द्र एवं राज्य सरकार के स्तर पर विभिन्न कार्यक्रमों का आयोजन किया जाएगा। राज्य स्तरीय कार्यक्रम बांसवाड़ा जिला मुख्यालय पर शुक्रवार 15 नवंबर को मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा एवं कानून एवं न्याय तथा संसदीय मामलात राज्य मंत्री अर्जुनलाल मेघवाल के आतिथ्य में समारोह पूर्वक आयोजित होगा। कार्यक्रम में मुख्यमंत्री द्वारा वनाधिकार अधिनियम अंतर्गत वन क्षेत्रों के विकास हेतु नवीन योजना ‘‘गोविन्द गुरु जनजातीय क्षेत्रीय विकास योजना‘‘ को प्रारम्भ किया जायेगा।

जनजाति क्षेत्रीय विकास आयुक्त प्रज्ञा केवलरमानी ने बताया कि इस वर्ष कार्यक्रम का विषय ‘‘नवादि युगधारा प्रणेता समागम’’ होगा जिसमें जनजाति समाज में विशिष्ट उपलब्धि वाले व्यक्तियों-उन्नत किसान, महिला उद्यमी, शिक्षा, खेल, कला एवं संस्कृति के क्षेत्र में विशेष पहचान रखने वाले एवं नवाचार कर जनजाति विकास में योगदान देने वाले व्यक्तियों को प्रणेता के रूप में पहचान दिलायी जाएगी। इस कार्यक्रम में राजभवन में एक प्रदर्शनी का आयोजन भी किया जाएगा, जिसमें वनधन विकास केन्द्रो, ट्राईफेड, मेजिक बस, यूनिसेफ, यूएनआईसीईएफ, एआईआईएमएस जोधपुर एवं आईआईएचएमआर द्वारा स्टॉल लगाई जाएगी।

राष्ट्रीय कार्यक्रम जमुई बिहार में

राष्ट्रीय कार्यक्रम का आयोजन माननीय प्रधानमंत्री की उपस्थिति में जिला जमुई, बिहार में आयोजित किया जायेगा। कार्यक्रम का प्रसारण राज्य स्तरीय कार्यक्रम एवं धरती आबा जनजातीय ग्राम उत्कर्ष अभियान अंतर्गत चयनित 34 जिले, (जहां आदर्श आचार संहिता लागू नहीं है) उन जिलों में जिला स्तरीय कार्यक्रम आयोजित किया जायेगा। धरती आबा जनजातीय ग्राम उत्कर्ष अभियान अन्तर्गत राज्य के ऐसे 12 जिले जहां इस योजना में 100 से अधिक ग्राम चयनित है (जहां आदर्ष आचार संहिता लागू नहीं है), वहां राज्य के प्रभारी मंत्री की उपस्थिति में जिला स्तरीय कार्यक्रम आयोजित किया जायेगा। 15 नवम्बर से 26 नवम्बर की अवधि में जनजातीय गौरव दिवस पखवाड़ा मनाया जायेगा। इस पखवाड़े में राज्य में निम्न कार्यक्रमों का आयोजन किया जायेगा।

संचार सेतु, प्रदर्शनी सहित होंगी सांस्कृतिक प्रतियोगिता

संयुक्त राष्ट्र जनसंख्या कोष यूएनएफपीए के सहयोग से 14 नवंबर को विभाग के आवासीय विद्यालयों व छात्रावासो में अकादमिक सूचना तंत्र के संचार हेतु स्थापित ‘‘सचार सेतु’’ का शुभारम्भ किया जायेगा। 15 से 17 नवंबर को ‘‘जनजाति चित्रकला एवं हस्तकला प्रदर्षनी’’ का आयोजन बागोर की हवेली, उदयपुर में किया जाएगा, जिसमें राज्य के लगभग 40 जनजाति कलाकारों के हस्तशिल्प की प्रदर्शनी लगायी जाएगी। इस अवधि में जनजाति छात्रावासों में कला एवं सांस्कृतिक प्रतियोगिताओं का आयोजन उपायुक्त, टीएडी कार्यालयों के माध्यम से किया जाएगा। 19 से 21 नवंबर तक ‘‘राष्ट्रीय युवा महोत्सव’’का आयोजन उदयपुर में किया जाएगा। 29 नवंबर से 8 दिसंबर तक ट्राईफेड जयपुर के संयुक्त तत्वाधान में ‘‘आदि महोत्सव’’ का आयोजन, जवाहर कला केन्द्र, जयपुर में सांस्कृतिक कार्यक्रमों का आयोजन किया जाएगा। इसी अवधि में जनजाति कला के सरंक्षण एवं संवर्धन के क्रम में जनजाति डिजाइन स्टूडियो “बनफूल“ का औपचारिक शुभारम्भ माणिक्य लाल वर्मा आदिम जाति शोध एवं प्रशिक्षण संस्थान (टीआरआई) उदयपुर में किया जाएगा।

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