म्यांमार में तेज भूकंप, 12 मिनट में दो बार कांपी धरती,घरों से बाहर निकले लोग

नई दिल्ली। म्यांमार में आए शक्तिशाली भूकंप के झटकों ने न केवल इस देश को बल्कि भारत समेत कई अन्य देशों को भी प्रभावित किया। भूकंप इतना तीव्र था कि इसका असर दिल्ली-एनसीआर, उत्तर प्रदेश और पूर्वोत्तर भारत के कई राज्यों में महसूस किया गया। हालांकि, फिलहाल किसी बड़े नुकसान की खबर नहीं आई है, लेकिन लोगों में भय का माहौल जरूर बना हुआ है।
भूकंप के झटकों से दहशत
यह भूकंप 6.2 तीव्रता का था और इसका केंद्र म्यांमार के मंडाले शहर के पास स्थित था। जर्मन रिसर्च सेंटर फॉर जियोसाइंसेज के अनुसार, भूकंप की गहराई 10 किलोमीटर थी। पहली बार यह झटका सुबह 11:52 पर महसूस किया गया और इसके दस मिनट बाद, 12:02 पर एक और झटका आया। भारत में भी इस भूकंप के प्रभाव को व्यापक रूप से महसूस किया गया। दिल्ली-एनसीआर, नोएडा, गाजियाबाद, लखनऊ और पूर्वोत्तर के राज्यों जैसे मणिपुर, अरुणाचल प्रदेश, असम और नागालैंड में लोगों ने जमीन हिलती हुई महसूस की। झटके महसूस होते ही डर के कारण लोग अपने घरों और दफ्तरों से बाहर निकल आए।
बैंकॉक तक पहुंचा प्रभाव
म्यांमार और भारत के अलावा, इस भूकंप के झटके थाईलैंड की राजधानी बैंकॉक में भी महसूस किए गए। बैंकॉक प्रशासन ने जानकारी दी कि भूकंप इतना शक्तिशाली था कि कई इमारतों में कंपन हुआ और स्विमिंग पूल का पानी तक बाहर छलकने लगा। इससे लोग दहशत में आ गए और सुरक्षित स्थानों की ओर भागने लगे।
पूर्वोत्तर भारत में भूकंप का असर
पूर्वोत्तर भारत के राज्यों में भूकंप के तेज झटके महसूस किए गए। खासकर मणिपुर, नगालैंड, मिजोरम और अरुणाचल प्रदेश में इसके प्रभाव को ज्यादा देखा गया, क्योंकि ये राज्य म्यांमार की सीमा से लगे हुए हैं। भूकंप के दौरान लोग अपने घरों से बाहर निकलकर खुले स्थानों में चले गए। हालांकि, अब तक किसी बड़े नुकसान की खबर नहीं आई है, लेकिन प्रशासन सतर्कता बरत रहा है।
दिल्ली-एनसीआर और उत्तर प्रदेश में झटके
दिल्ली-एनसीआर में भी भूकंप के झटके महसूस किए गए। दिल्ली, नोएडा और गाजियाबाद में लोग तुरंत अपने घरों और दफ्तरों से बाहर निकल आए। उत्तर प्रदेश के भी कई इलाकों में हल्के झटके महसूस किए गए, जिससे लोगों में घबराहट का माहौल बन गया।
भूकंप का वैज्ञानिक विश्लेषण
भूकंप वैज्ञानिकों के अनुसार, यह झटका टेक्टोनिक प्लेटों में हलचल के कारण आया। म्यांमार और भारत का पूर्वोत्तर क्षेत्र भूकंप प्रवण क्षेत्रों में आता है, जहां अक्सर इस तरह की घटनाएं होती रहती हैं। विशेषज्ञों का कहना है कि भूकंप की तीव्रता अधिक थी, लेकिन इसकी गहराई अधिक होने के कारण बड़े पैमाने पर नुकसान नहीं हुआ।
प्रशासन की अपील और सतर्कता
भूकंप के झटकों के बाद प्रशासन ने लोगों से शांत रहने की अपील की है। भूकंप से प्रभावित क्षेत्रों में किसी भी संभावित खतरे से निपटने के लिए आपदा प्रबंधन दलों को सतर्क कर दिया गया है। प्रशासन ने लोगों से अपील की है कि वे अफवाहों से बचें और किसी भी आपात स्थिति में तुरंत स्थानीय अधिकारियों से संपर्क करें। हालांकि, इस भूकंप से अब तक किसी बड़े नुकसान की खबर नहीं आई है, लेकिन यह घटना एक बार फिर से यह याद दिलाती है कि भूकंप प्रवण क्षेत्रों में रहने वाले लोगों को हमेशा सतर्क और तैयार रहना चाहिए।