शिक्षक हित और राष्ट्रहित सर्वोपरि रखें: पुष्करणा

Update: 2025-09-27 10:58 GMT



भीलवाड़ा। प्रहलाद तेली महाराणा प्रताप सभागार में राजस्थान शिक्षक संघ राष्ट्रीय द्वारा आयोजित शिक्षक सम्मेलन के दूसरे दिन बड़ी संख्या में शिक्षक एकत्रित हुए। जिला सम्मेलन के संयोजक विनोद झंवर ने बताया कि खुले सत्र में जिले की उपशाखाओं ने ऑनलाइन कार्य प्रणाली, प्रतियोगी परीक्षाओं में एक पारी ड्यूटी, कुक/हेल्पर मानदेय वृद्धि, संविदा कर्मियों का स्थाईकरण, तृतीय श्रेणी पदोन्नति, जर्जर भवनों की मरम्मत और ग्रामीण भत्ता जैसी मांगें रखीं।



मुख्य अतिथि और अध्यक्षता

प्रथम सत्र में विभाग संगठन मंत्री तेज बहादुर सिंह मुख्य अतिथि थे, जिला संगठन मंत्री रामस्वरूप सुथार विशिष्ट अतिथि और प्रधानाचार्य सुषमा बिश्नोई ने अध्यक्षता की।

समापन सत्र में विचार

प्रदेश उपाध्यक्ष कैलाश चंद्र सुथार ने संगठन की कार्य प्रणाली और नीतियों पर प्रकाश डाला। भीलवाड़ा नगर निगम के महापौर राकेश पाठक ने नई शिक्षा नीति के माध्यम से शिक्षक की भूमिका और भारतीय संस्कृति के संवर्धन की आवश्यकता पर जोर दिया। मुख्य वक्ता डॉ. शंकर लाल माली ने देश में नकारात्मक विमर्श और संस्कृति संरक्षण पर विचार व्यक्त किए। प्रदेश अध्यक्ष रमेश पुष्करणा ने संगठन की पिछले 72 वर्षों की सक्रियताओं और शिक्षकों के हित में किए गए आंदोलनों का विवरण दिया।



नवीन कार्यकारिणी का गठन

प्रदेश पर्यवेक्षक सुशीला जाट की उपस्थिति में चुनाव अधिकारी चंद्र प्रकाश जोशी ने नवनिर्वाचित कार्यकारिणी की घोषणा की। इसमें सभाध्यक्ष राजेन्द्र कुमार शर्मा, उपसभाध्यक्ष रामस्वरूप सुथार, रामेश्वर लाल आमेटा, अध्यक्ष सुरेश चंद्र बड़वा, वरिष्ठ उपाध्यक्ष अनूप सिंह, महिला उपाध्यक्ष निर्मल सुखवाल, सचिव माध्यमिक पंकज जैन, सचिव प्राथमिक राजकुमार वैष्णव, कोषाध्यक्ष बनवारी लाल काबरा सहित अन्य सदस्य निर्विरोध निर्वाचित हुए।

सम्मेलन के सहसंयोजक बसंती लाल, ओमप्रकाश सुथार और सत्यनारायण मंत्री, राजेश सोमानी को प्रदेश अध्यक्ष द्वारा सम्मानित किया गया। आभार प्रदर्शन निवर्तमान अध्यक्ष राम प्रसाद माणम्या ने किया, जबकि कार्यक्रम का संचालन बनवारी लाल और नीता रावत ने किया।


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