नई दिल्ली वैश्विक बाजारों में कमजोरी के रुझान के चलते गुरुवार को शुरुआती कारोबार में इक्विटी बेंचमार्क सूचकांक सेंसेक्स और निफ्टी में मामूली गिरावट दर्ज की गई। शुरुआती कारोबार में 30 शेयरों वाला बीएसई सेंसेक्स 214.87 अंक गिरकर 84,344.78 पर आ गया। वहीं, 50 शेयरों वाला एनएसई निफ्टी 56.1 अंक गिरकर 25,762.45 पर पहुंच गया।
शुरुआती कारोबार में गुरुवार को रुपया अमेरिकी डॉलर के मुकाबले सीमित दायरे में कारोबार करता रहा, क्योंकि विदेशी निधियों के नए प्रवाह से मिलने वाला समर्थन व्यापार समझौते की अनिश्चितता और जोखिम से बचने की भावना से बेअसर हो गया।
सेंसेक्स की कंपनियों का हाल
सेंसेक्स में सूचीबद्ध कंपनियों में से सन फार्मा, टाटा मोटर्स पैसेंजर व्हीकल्स, महिंद्रा एंड महिंद्रा, एनटीपीसी, भारत इलेक्ट्रॉनिक्स और मारुति सबसे ज्यादा नुकसान झेलने वाली कंपनियों में शामिल थीं। हालांकि, एचसीएल टेक, टाटा कंसल्टेंसी सर्विसेज, टेक महिंद्रा और आईटीसी लाभ कमाने वाली कंपनियों में शामिल थीं।
निफ्टी की कंपनियों का हाल
एशियाई बाजारों में रहा मिला-जुला हाल
एशियाई बाजारों में, दक्षिण कोरिया का कोस्पी, जापान का निक्केई 225 सूचकांक और हांगकांग का हैंग सेंग सूचकांक नीचे दर्ज किए गए, जबकि शंघाई का एसएसई कंपोजिट सूचकांक सकारात्मक दायरे में कारोबार कर रहा था। अमेरिकी बाजार बुधवार को गिरावट के साथ बंद हुए।
अमेरिका में रात भर हुई भारी बिकवाली के बाद वैश्विक बाजार आज के सत्र में सतर्कता के साथ प्रवेश कर रहे हैं। एसएंडपी 500, नैस्डैक और डाउ ने अपनी गिरावट जारी रखी क्योंकि निवेशकों ने उच्च मूल्यांकन वाली प्रौद्योगिकी और एआई शेयरों में मुनाफा कमाया।
अमेरिकी आर्थिक आंकड़े जारी होने से पहले निवेशक सर्तक
ऑनलाइन ट्रेडिंग और वेल्थ टेक फर्म एनरिच मनी के सीईओ पोनमुडी आर ने कहा कि अमेरिकी उपभोक्ता मूल्य मुद्रास्फीति के आंकड़ों के जारी होने से पहले निवेशकों का नजरिया भी सतर्क बना हुआ है, क्योंकि मौद्रिक नीति के भविष्य के प्रक्षेप पथ पर बाजार में विभाजित विचार हैं, जो प्रतिभागियों को रक्षात्मक रुख अपनाने और आक्रामक स्थिति से बचने के लिए प्रेरित कर रहे हैं। उन्होंने आगे कहा कि लगातार कई सत्रों की बिकवाली के बाद वॉल स्ट्रीट पर छाए सुस्त माहौल को दर्शाते हुए एशियाई बाजारों की शुरुआत कमजोर रही।
विदेशी निवेशकों का भारतीय बाजार पर भरोसा लौटा
चॉइस इक्विटी ब्रोकिंग प्राइवेट लिमिटेड की तकनीकी और डेरिवेटिव विश्लेषक अमृता शिंदे ने कहा कि संस्थागत मोर्चे पर, एफआईआई पिछले 14 सत्रों तक विक्रेता रहने के बाद 17 दिसंबर को शुद्ध खरीदार बन गए और उन्होंने 1,171 करोड़ रुपये के शेयर खरीदे, जबकि डीआईआई भी 768 करोड़ रुपये की शुद्ध खरीदारी के साथ सहायक बने रहे।
शिंदे ने आगे कहा कि बाजार के प्रतिभागी सत्र के दौरान वैश्विक इक्विटी रुझानों, कच्चे तेल की कीमतों में उतार-चढ़ाव और संस्थागत निधि प्रवाह पर नजर रखेंगे ताकि उन्हें बाजार में तेजी की दिशा का पता चल सके।
ब्रेंट क्रूड का भाव बढ़कर 60.07 डॉलर प्रति बैरल पर पहुंचा
वैश्विक तेल मानक ब्रेंट क्रूड 0.65 प्रतिशत बढ़कर 60.07 अमेरिकी डॉलर प्रति बैरल हो गया। विदेशी संस्थागत निवेशकों (एफआईआई) ने बुधवार को शेयरों की खरीदारी की और एक्सचेंज के आंकड़ों के अनुसार 1,171.71 करोड़ रुपये के शेयर खरीदे। घरेलू संस्थागत निवेशकों (डीआईआई) ने भी पिछले कारोबार में 768.94 करोड़ रुपये के शेयर खरीदे। बुधवार को सेंसेक्स 120.21 अंक या 0.14 प्रतिशत गिरकर 84,559.65 पर बंद हुआ। निफ्टी 41.55 अंक या 0.16 प्रतिशत गिरकर 25,818.55 पर आ गया।
