रेलवे ने रवानगी से 8 घंटे पहले आरक्षण चार्ट तैयार करने का प्रस्ताव ,जुलाई महीने से शुरू होगी ओटीपी वेरिफिकेशन

Update: 2025-06-29 14:35 GMT
रेलवे ने रवानगी से 8 घंटे पहले आरक्षण चार्ट तैयार करने का प्रस्ताव ,जुलाई महीने से शुरू होगी ओटीपी वेरिफिकेशन
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भारतीय रेलवे ट्रेन टिकट बुकिंग प्रणाली में कुछ बड़े बदलाव करने की तैयारी में है। इसका मकसद यात्रियों को बेहतर सुविधा देना है। रेलवे धीरे-धीरे अपनी आरक्षण प्रणाली में तीन अहम सुधार लाने जा रहा है। इन बदलावों में शामिल हैं — तत्काल टिकट बुकिंग की नई प्रक्रिया, प्रतीक्षा सूची वाले यात्रियों के लिए चार्ट पहले तैयार करना और पूरी टिकटिंग प्रणाली को अपग्रेड करनाआए दिन टिकट आरक्षण को लेकर होने वाली जद्दोजहद से निजात दिलाने के लिए भारतीय रेलवे ने कई अहम फैसले लिए हैं। रेलवे बोर्ड ने ट्रेनों के प्रस्थान से आठ घंटे पहले आरक्षण चार्ट तैयार करने का प्रस्ताव दिया है। इसका मतलब दोपहर 1400 (दो) बजे से पहले प्रस्थान करने वाली ट्रेनों के आरक्षण चार्ट रात 2100 (नौ) बजे से पहले ही तैयार हो जाएंगे। रेलवे बोर्ड ने बताया कि नई यात्री आरक्षण प्रणाली (पीआरएस) के माध्यम से अब प्रति मिनट 1.5 लाख से अधिक टिकट बुकिंग की जा सकेगी। इसके अलावा 1 जुलाई, 2025 से आईआरसीटीसी वेबसाइट और मोबाइल एप से तत्काल टिकट बुकिंग को लेकर भी बदलाव होंगे। रेलवे के मुताबिक अब केवल प्रमाणित उपयोगकर्ताओं को ही ऑनलाइन तत्काल टिकट बुक करने की अनुमति मिलेगी।

तत्काल टिकट अब सिर्फ सत्यापित यूज़र्स ही बुक कर सकेंगे

भारतीय रेलवे ने बताया है कि 1 जुलाई 2025 से तत्काल टिकट की बुकिंग केवल उन्हीं यात्रियों को मिलेगी, जिनका आईआरसीटीसी अकाउंट सत्यापित (वेरिफाइड) होगा। यह नियम आईआरसीटीसी की वेबसाइट और मोबाइल ऐप दोनों पर लागू होगा। इसके अलावा, तत्काल टिकट बुक करते समय ओटीपी (OTP) आधारित पहचान की प्रक्रिया भी शुरू की जा रही है, जो जुलाई 2025 के आखिर तक लागू की जाएगी। रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने अधिकारियों को निर्देश दिए हैं कि तत्काल बुकिंग के लिए पहचान सत्यापन की यह प्रक्रिया और मजबूत की जाए, जिससे सिस्टम पारदर्शी और सुरक्षित रहे।

चार्ट नहीं छापने से बचेगा खर्च

ट्रेनों में चलने वाले टीटीई को हैंड हेल्ड टर्मिनल डिवाईस (एचएचटी) दी जाए। टीटीई को एचएचटी देने के बाद प्रिंटिंग चार्ट की उपयोगिता और नहीं रह गई है। ऐसे में जिन जगहों पर एचएचटी की सुविधा दी गई है, वहां प्रिंटेड रिजर्वेशन चार्ट का उपयोग नहीं किया जाएगा। हालांकि, जरूरत के अनुसार क्षेत्रीय रेलवे को प्रिंटिंग करवाने की भी छूट दी गई है, लेकिन रेलवे को जरूरत की समीक्षा करने के बाद ही निर्णय लेने को कहा गया है।


ज्ञात हो कि इसी कन्फर्म रिजर्वेशन के प्रिंटेड चार्ट की एक काॅपी ट्रेन के कोच में ड्यूटी पर तैनात टीटीई के पास भी रहती थी, जो अब नहीं रहेगी। रेलवे का तर्क है कि चार्ट नहीं छापने से कागज तो बचेगा ही, साथ ही चार्ट तैयार करने के बाद छापने और बोगियों में चिपकाने जैसे काम पर होने वाला खर्च भी बचेगा। टीटीई के पास प्रिंटेड चार्ट की जगह एचएचटी में चार्ट डिस्प्ले रहेंगे, उन्हीं पर चार्ट डिस्प्ले रहेगा, जिसे देखा जा सकता है।

 


इसके अलावा, जुलाई, 2025 के अंत से तत्काल टिकट बुकिंग के लिए वन टाइम पिन (ओटीपी) आधारित वेरिफिकेशन भी किया जाएगा। इस ऑनलाइन प्रमाणीकरण की प्रक्रिया में यूजर अपने डिजिलॉकर अकाउंट की मदद ले सकते हैं। वेरिफिकेशन के लिए डिजिलॉकर में सेव आधार कार्ड डाटा या किसी अन्य सरकारी आईडी का उपयोग किया जा सकता है। बता दें कि सत्यापन के लिए मान्य डॉक्यूमेंट या किन दस्तावेजों का इस्तेमाल किया जा सकता है, इसकी सूची रेलवे पहले ही जारी कर चुका है।

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