रात के अंधेरे में ग्रामीणों की सजगता, 9 घंटे की निगरानी के बाद 70 गौवंश मुक्त
भीलवाड़ा। जिले के आसींद क्षेत्र में गो-तस्करी का एक बड़ा प्रयास ग्रामीणों की सतर्कता और पुलिस की त्वरित कार्रवाई से नाकाम हो गया। शंभूगढ़ थाना क्षेत्र के रातेड़ी-घेनपुरा के जंगलों में रविवार देर रात खाकुल देव मंदिर के पास एक कंटेनर से करीब 70 गोवंश को सुरक्षित मुक्त कराया गया।
रविवार शाम करीब 6 बजे क्षेत्र में संदिग्ध गतिविधियों की सूचना मिलने पर मोटरास निवासी धर्मेश सिंह रावणा, भूपेंद्र सिंह राठौड़, ओमप्रकाश नायक, कैलाश चंद्र नायक, प्रवीण सेन, ओमप्रकाश मेवाड़ा सहित अन्य ग्रामीण और गो-भक्त सक्रिय हो गए। ग्रामीणों ने तत्काल पुलिस को सूचना दी और बिना शोर किए करीब 9 घंटे तक इलाके में छिपकर तस्करों की गतिविधियों पर नजर बनाए रखी।
मध्यरात्रि करीब 3 बजे तस्कर खाकुल देव मंदिर के पास एक तारबंदी वाले बाड़े में कंटेनर के जरिए गोवंश भर रहे थे। इसी दौरान ग्रामीणों और पुलिस की संयुक्त टीम ने अचानक दबिश दी। कार्रवाई से घबराकर तस्कर अंधेरे का फायदा उठाते हुए मौके से फरार हो गए, लेकिन कंटेनर और एक बाइक वहीं छोड़ गए।
घटनास्थल की स्थिति को देखते हुए इस पूरे मामले में स्थानीय स्तर पर सहयोग या सांठगांठ की आशंका भी जताई जा रही है। जिस स्थान पर कंटेनर खड़ा किया गया था और बाड़े की व्यवस्था, तस्करों को स्थानीय मदद मिलने की ओर इशारा करती है।
शंभूगढ़ थाना पुलिस ने मौके से ट्रेलर और बाइक को जब्त कर लिया है। सभी 70 गोवंश को सुरक्षित स्थान पर पहुंचाया गया है। पुलिस ने अज्ञात तस्करों के खिलाफ मामला दर्ज कर जांच शुरू कर दी है और स्थानीय मिलीभगत के पहलुओं को भी खंगाला जा रहा है।
