एअर इंडिया के ड्रीमलाइनर विमानों में हुआ बड़े पैमाने पर अपग्रेड, घटेंगे तकनीकी खराबी के मामले

By :  vijay
Update: 2025-08-10 18:26 GMT
एअर इंडिया के ड्रीमलाइनर विमानों में हुआ बड़े पैमाने पर अपग्रेड, घटेंगे तकनीकी खराबी के मामले
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नई दिल्ली एअर इंडिया ने अपने 26 लेगेसी बी787-8 ड्रीमलाइनर विमानों के एवियोनिक्स और अन्य महत्वपूर्ण पुर्जों को अपग्रेड करने की घोषणा की है, ताकि तकनीकी खराबियों को कम किया जा सके और विमानों की भरोसेमंद सेवा सुनिश्चित हो। हाल के समय में ड्रीमलाइनर बेड़े में आई तकनीकी समस्याओं के बाद यह कदम उठाया गया है। यह अपग्रेड एक बड़े 400 मिलियन अमेरिकी डॉलर के फ्लीट रेट्रोफिट प्रोग्राम का हिस्सा है, जिसे दिसंबर 2022 में शुरू किया गया था।

पहला ड्रीमलाइनर जुलाई 2025 में अमेरिका के कैलिफोर्निया स्थित बोइंग सुविधा, विक्टरविल भेजा गया है, जहां इसका अपग्रेड और रेट्रोफिट कार्य शुरू हो चुका है। अक्टूबर 2025 में दूसरा विमान भी इसी सुविधा के लिए रवाना होगा। दो विमानों के दिसंबर 2025 में सेवा में लौटने की उम्मीद है।

भरोसेमंद सेवा के लिए नए मानक

एअर इंडिया का कहना है कि रीलायबिलिटी एन्हांसमेंट प्रोग्राम के तहत सभी 26 लेगेसी बी787-8 विमानों में एवियोनिक्स और महत्वपूर्ण पुर्जों को नवीनतम उद्योग मानकों के अनुसार बदला जाएगा। इसके लिए विमानों के मेंटेनेंस और कॉन्फिगरेशन रिकॉर्ड का विश्लेषण किया जाएगा और बोइंग की सर्विस बुलेटिन के आधार पर जरूरी बदलाव लागू किए जाएंगे।

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भारी मेंटेनेंस और डी-चेक

इन 26 विमानों में से 7 को भारी, निर्धारित मेंटेनेंस (डी-चेक) के लिए विक्टरविल भेजा जाएगा। यह प्रक्रिया विमान की दीर्घकालिक संचालन क्षमता को बेहतर बनाएगी। पूरा ड्रीमलाइनर रेट्रोफिट कार्य 2027 के मध्य तक पूरा करने की योजना है। अपग्रेड के बाद इन विमानों में बिजनेस, प्रीमियम इकोनॉमी और इकोनॉमी तीन क्लास की सीटिंग होगी।

अन्य विमानों में भी अपग्रेड

ड्रीमलाइनर अपग्रेड के साथ-साथ एअर इंडिया 2027 से अपने 13 लेगेसी बोइंग 777-300ईआर विमानों का भी रेट्रोफिट करेगी, जो अक्टूबर 2028 तक पूरा होगा। सप्लाई चेन में देरी के कारण इस प्रोजेक्ट की समय-सीमा आगे बढ़ाई गई है। इसके अलावा 27 लेगेसी ए320 नियो विमानों का अपग्रेड कार्य इस साल सितंबर में पूरा होने की उम्मीद है, जिसमें अब तक 16 विमान रेट्रोफिट हो चुके हैं।

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