अगर किसी जज को आपत्ति है तो चीफ जस्टिस के पास जाना ही उचित', पूर्व सीजेआई चंद्रचूड़ का बयान

By :  vijay
Update: 2025-02-22 07:26 GMT

भारत के पूर्व मुख्य न्यायाधीश (सीजेआई) डी.वाई. चंद्रचूड़ ने शुक्रवार को कहा कि अगर किसी जज को किसी खास फैसले पर कोई आपत्ति हो तो सही तरीका यह है कि वह चीफ जस्टिस से संपर्क करें और इस बारे में बात करें, न कि उसे सार्वजनिक रूप से उठाएं। चंद्रचूड़ विधि उत्सव-2025 के उद्घाटन समारोह के बाद सवालों का जवाब दे रहे थे।


 

उन्होंने कहा कि न्यायिक संस्थाओं तभी प्रभावी ढंग से काम कर सकती हैं, जब उनके पास एक स्पष्ट प्रक्रिया हो जो निश्चितता, उद्देश्य और पारदर्शिता को बढ़ावा देती हो, चाहे वह जजों की सूची तैयार करने की प्रक्रिया हो या अन्य दिशानिर्देशों के मामले में हो। चंद्रचूड़ ने कहा, अगर किसी जज को किसी फैसले पर आपत्ति है, तो सबसे सही तरीका यह है कि वह चीफ जस्टिस से संपर्क करें और इस पर बातचीत करें। इसे सार्वजनिक बहस में लाने से संस्थान की भूमिका का महत्व घट सकता है।

 

उन्होंने यह भी कहा कि न्यायिक पीठ में एकरूपता होनी चाहिए, क्योंकि वह बार से जुड़ा हुआ है और बार को इस बात की उम्मीद होती है कि मामलों को कैसे उठाया जाएगा।

चंद्रचूड़ ने न्यायिक संस्थाओं में बदलावों को लेकर कहा कि इन बदलावों को संस्थागत रूप से अपनाया जाना चाहिए। उन्होंने कहा, बहुत बार जो बदलाव किए जाते हैं, वे व्यक्तिगत रूप से देखे जाते हैं। कभी-कभी इसका लाभ कुछ लोग उठाते हैं। इसलिए मेरा हमेशा मानना रहा है कि बदलावों को संस्थागत रूप से लागू किया जाना चाहिए।

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