सर्दी के मौसम में वरदान की तरह है बाजरे की रोटी

Update: 2025-01-12 04:20 GMT

 अपने देश में ज्यादातर लोग  गेंहू के आटे की रोटी  का ही सेवन करते  है। वे इसे संपूर्ण पोषण मानते हैं और भोजन गेहूं के रोटी के बिना अधूरा माना जाता है। मगर, क्या आप को पता हैं कि एक ऐसा आटा भी है, जो कि सेहत से भरपूर होने के साथ शरीर में खून की कमी को भी दूर करता है।

ऐसा पोषणयुक्त अनाज है बाजरा, जिसे पर्ल मिलेट भी कहते हैं। बाजरे के आटे की सामान्य रोटी बना कर खा सकते हैं या फिर इसके पराठे, हलवा या लड्डू जैसी डिशेज भी बनाई जा सकती हैं।सर्दियों में बाजरे के आटे का इस्तेमाल अधिक करना चाहिए क्योंकि इसकी तासीर गर्म होती है। इसकी वजह से यह शरीर को अंदर से गर्म रखने में मदद करता है।

फायदे

100 ग्राम बाजरे में 66 ग्राम कार्ब्स, 11.9 ग्राम प्रोटीन, 8.7 ग्राम फाइबर, 11 मिलीग्राम आयरन, 50 ग्राम कैल्शियम और 242 ग्राम फॉस्फोरस पाया जाता है।

11 मिलीग्राम आयरन का मतलब हुआ कि ये शरीर की प्रतिदिन की जरूरत का 60 प्रतिशत हिस्सा है। इसलिए एनीमिया और खून की कमी से जूझ रहे लोगों के लिए बाजरे के आटे का सेवन बहुत फायदेमंद माना गया है।

बाजरे में मौजूद आयरन शरीर को मिलने से सभी अंगों तक पर्याप्त मात्रा में ऑक्सीजन सप्लाई करता है और इस तरह एनीमिया और इससे होने वाले थकान को भी दूर करता है।

बाजरे का ग्लाइसेमिक इंडेक्स कम है। इससे ये ब्लड शुगर लेवल को मैनेज कर के डायबिटीज मैनेजमेंट में मदद करता है।

ये मैग्नीशियम और फॉस्फोरस का एक बेहतरीन स्रोत है, जो हड्डियों और दांत की मजबूती के लिए बहुत जरूरी तत्व है।

बाजरा ग्लूटन फ्री भी होता है, जिससे ग्लूटन इनटोलरेंट लोगों के लिए ये एक बेहतरीन विकल्प है।

बाजरा में भरपूर मात्रा में फाइबर पाया जाता है, जिससे कब्ज की शिकायत से भी राहत मिलती है।

बाजरे में ओमेगा थ्री फैटी एसिड पाया जाता है, जो ब्रेन हेल्थ और हार्ट हेल्थ के लिए बेहद फायदेमंद माना जाता है।

बाजरा के आटे में कैलोरी की मात्रा कम होती है, जिससे वेट लॉस में मदद मिलती है।

बाजरा में मिलने वाले मैग्नीशियम, आयरन, जिंक जैसे पोषक तत्व हार्मोनल संतुलन बनाए रखते हैं और रिप्रोडक्टिव हेल्थ को सपोर्ट करते हैं।



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