धूमधाम से मनाया कृष्ण जन्मोत्सव

उदयपुर, । मंशापूर्ण गजानंद मंदिर परिसर, महाराणा प्रताप कॉलोनी, गवरी चौक, सेक्टर 13 में श्री पुष्कर दास जी महाराज के द्वारा चल रही संगीतमय भागवत कथा के पांचवे दिन कहा मनुष्य जन्म अनमोल हे ये बार बार नहीं मिलेगा इसमें जो सत्कर्म,दान पुण्य करना समय पर कर लेवे। इस जनम में जो दान पुण्य करते हे वो अगले जन्म को सफल बनाने की तैयारी करते है। हम मंदिर, दर्शन, सत्संग करे परंतु हमारी वजह से किसी को कष्ट ना हो वो सही सत्कर्म कहा जाता है। महाराज ने कहा भागवत की कथा में भगवान विष्णु ने 4 अवतार लिए उसमें से मत्स्य अवतार, कच्छप अवतार,वराह अवतार,और मोहिनी अवतार। इन चार अवतार में से एक अवतार मत्स्य नारायण का आया है। कथा को आगे बढ़ाते हुए भागवत के 24 गुरु की व्याख्या की । महाराज ने बताया ऋषभ देव भगवान भी भागवत से ही निकले, राजा भरत ने एक हिरण के बच्चे के मोह में फसने के कारण अगला जन्म हिरण का पाया। आगे दशम स्कंध की कथा का वर्णन करते हुए कहा वासुदेव जी जैसे ही भगवान कृष्ण को सिर पर धारण किया उनकी बुद्धि पवित्र हुई सभी बेडिया और ताले खुल गए पहरेदार सो गए द्यकंस तो फिर भी ठीक था जो देवकी के पुत्रों को जन्म लेने के बाद हत्या करता था लेकिन आज के समय में घर घर में ऐसे कंस बैठे जो मां के पेट में ही बच्चियो को मरवा देते है। शास्त्रों में लिखा है ऐसे घर का पानी पीना भी पाप के समान है। कथा में कृष्ण जन्म धूमधाम से मनाया गया और सभी श्रोता भजनों पर झूम उठे और जयकारे लगाए । अंत में व्यासपीठ से सभी भक्तों को महाराज ने बधाई स्वरूप प्रसाद दिया एवं बूंदी के रेतवाली महादेव मंदिर समिति के अध्यक्ष श्री सत्यनारायण सोमानी का महाराज ने शाल ओढ़ाकर सम्मान किया ।