शाहपुरा राजेन्द्र खटीक। जहाजपुर पिपलुन्द-आज शासन सचिवालय राजस्थान के लोकप्रिय पंचायतराज मंत्री माननीय मदन दिलावर की अध्यक्षता में विभिन्न विभागों के वरिष्ठ अधिकारियों एवं जनप्रतिनिधियों की बैठक में प्रदेश की पंचायत भूमि, गोचर भूमि और सरकारी क्षेत्रों से विलायती बबूल के समूल उन्मूलन के लिए ठोस कार्ययोजना पर विस्तृत विचार-विमर्श किया गया।
विलायती बबूल एक ऐसी प्रजाति है, जो नीम, पीपल, खेजड़ी और केर जैसे स्थानीय वृक्षों को नष्ट करने के साथ-साथ भूजल का अत्यधिक दोहन कर जलस्तर को गिराती है तथा उपजाऊ भूमि को बंजर बना देती है।पंचायत भूमि, चरागाहों, तालाबों व अन्य सरकारी भूमि से विलायती बबूल का पूर्ण उन्मूलन प्राथमिकता से किया जाएगा।इस कार्य में मनरेगा, ग्राम पंचायतें, वन विभाग तथा कोयला निर्माण से जुड़ी कंपनियों का समन्वित सहयोग लिया जाएगा।वैज्ञानिक पद्धति से कार्रवाई कर जैव विविधता का संरक्षण सुनिश्चित किया जाएगा, ताकि स्थानीय वनस्पतियाँ और चारागाह पुनः हरे-भरे हो सकें।विलायती बबूल हटाकर प्रदेश के चरागाहों को हराभरा बनाने के इस संकल्प में जनसहयोग को सबसे बड़ी शक्ति है।ग्राम पंचायत पीपलून्द ने पहले ही इस अभियान को प्रारंभ कर दिया है। इस क्षेत्र में एक प्रकार ने मेरी ग्राम पंचायत संपूर्ण राजस्थान में रॉल मॉडल बनेगी।