काली मिर्च व किशमिश पर कोई टैक्स नहीं, नमकीन पॉपकॉर्न पर 5% GST;
जोधपुर। केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण की अध्यक्षता में राजस्थान के जैसलमेर में जीएसटी काउंसिल की 55 वीं बैठक संपन्न हुई। बैठक में आगामी बजट और जीएसटी को लेकर आए कई प्रस्ताव और प्रावधानों पर चर्चा हुई।
काउंसिल की बैठक में टर्म इंश्योरेंस, जीवन बीमा और स्वास्थ्य बीमा पर टैक्स कम करने का प्रस्ताव राज्यों के विरोध के चलते टल गया है। काउंसिल ने मंत्रियों से इस पर और अध्ययन करने को कहा है। निर्णय अब अगली बैठक में होगा। वहीं राज्यों ने पेट्रोल और डीजल को जीएसटी के दायरे में लाने पर सहमति नहीं जताई है।
बैठक के बाद मीडिया ब्रीफिंग में वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने फैसलों के बारे में जानकारी दी। उन्होंने बताया कि देश से बाहर माल भेजने वाले सप्लायर्स पर लगने वाले कंपनसेशन सेस को कम किए जाने पर सहमति बनी है। इससे निर्यातकों का वर्किंग कैपिटल बढ़ेगा।
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण की तरफ से यह बताया गया कि इस मामले को लेकर बनाए गए मंत्रियों के समूह (जीओएम) को इस मुद्दे पर भारतीय बीमा विनियामक और विकास प्राधिकरण (इरडा) की तरफ से जवाब नहीं मिला है, इसलिए इस पर फैसला नहीं हो सका। अब इरडा पहले जीओएम को अपने विचार देगा फिर जीओएम काउंसिल के समक्ष इस मसले को फैसले के लिए रखेगी।
एटीएफ को जीएसटी के दायरे में लाना चाहता है केंद्र
वित्त मंत्री ने बताया कि काउंसिल की बैठक में हवाई जहाज में इस्तेमाल होने वाले एयर टरबाइन फ्यूल (एटीएफ) को भी जीएसटी के दायरे में लाने का प्रस्ताव केंद्र की तरफ से रखा गया। मगर राज्यों ने इस पर अपनी सहमति नहीं दी। राज्यों ने साफ कहा कि पेट्रोल, डीजल व एटीएफ पर टैक्स के रूप में वैट लगाने का अधिकार राज्यों के पास ही रहना चाहिए। एटीएफ को जीएसटी में लाने पर इस पर कम टैक्स लगेगा जिससे हवाई यात्रा सस्ती हो सकती है।
जीएसटी काउंसिल की बैठक जैसलमेर के पांच सितारा होटल में दो सत्रों में आयोजित की गई। इसमें केंद्रीय वित्त राज्य मंत्री पंकज चौधरी के साथ गोवा, हरियाणा, जम्मू- कश्मीर, मेघालय, ओडिशा के मुख्यमंत्री व अरुणाचल प्रदेश, बिहार, मध्य प्रदेश, राजस्थान, तेलंगाना के उपमुख्यमंत्री और आर्थिक मामलों व व्यय विभागों के सचिव और वित्त मंत्रालय मौजूद रहे। राजस्थान में यह बैठक दूसरी बार आयोजित की गई। पहली बैठक उदयपुर में हुई थी।बाद