क्या मोर का नाचना सचमुच बारिश का संकेत है? जानिए इसके पीछे का वैज्ञानिक रहस्य!

भीलवाड़ा , जिले में कुछ सालो पहले तक मोर की मधुर आवाज सुनाए देती थी और यदा कड़ा उन्हें नाचते हुए भी देखा जाता था मगर अब ऐसे नजारे शहर वासियो के लिए दुर्लभ हो गए; मोर जब नाचता हे तो एक मान्यता हे की बारिस आने वाली हे. आइये जानते हे क्या हे मोर के छनछने के पीछे की कहानी ....
भारतीय ग्रामीण समाज में यह गहरी मान्यता है कि जब मोर अपने रंग-बिरंगे पंख फैलाकर नाचते हैं, तो यह बारिश आने का शुभ संकेत होता है। इस खूबसूरत छवि का वर्णन कई कवियों और लोकगीतों में मिलता है, यहाँ तक कि मीरा बाई के भजनों में भी कृष्ण के साथ नाचते मोर का ज़िक्र है, जो वर्षा ऋतु के आगमन की ओर इशारा करता है।
यह धारणा इतनी प्रबल है कि अगर कोई मोर पंख फैलाए हुए दिख जाए, तो लोग मान लेते हैं कि अब जल्द ही बारिश होने वाली है। लेकिन क्या यह सिर्फ एक खूबसूरत कहावत है या इसके पीछे कोई सच्चाई भी है? आइए जानते हैं मोर के नाचने का असली कारण।
आपको जानकर हैरानी होगी कि मोर वास्तव में बारिश का संकेत देने के लिए नहीं नाचते। दरअसल, वसंत से वर्षा ऋतु तक (मार्च से सितंबर) का महीना मोरों का प्रजनन काल (मेटिंग सीजन) होता है। इस दौरान, नर मोर मादा मोरों को अपनी ओर आकर्षित करने के लिए अपने शानदार पंख फैलाते हैं और नृत्य करते हैं।
चूँकि इन्हीं महीनों में भारत में बारिश का मौसम भी आता है, लोगों के मन में यह धारणा बन गई कि मोरों का नाचना बारिश आने का संकेत है। यही कारण है कि यह व्यवहार हमें सर्दियों या पतझड़ के मौसम में देखने को नहीं मिलता।
मोरनी को रिझाने के लिए नृत्य
प्रजनन काल के दौरान, नर मोर मोरनी को रिझाने और उसे अपना साथी बनाने के लिए उसके आस-पास नाचते हैं। मोरनी के पास यह आज़ादी होती है कि वह किसी भी मोर को अपना मेटिंग पार्टनर चुन सकती है। इसलिए, वह मोर के नृत्य और उसकी चाल को बहुत बारीकी से देखती है, ताकि वह अपने और अपनी आने वाली संतानों के लिए सबसे फिट पार्टनर चुन सके।
नर मोर अपनी सुंदरता और नृत्य कला का प्रदर्शन कर मादा को आकर्षित करने की कोशिश करते हैं। यह उनकी प्रजनन प्रक्रिया का एक सामान्य हिस्सा है, ठीक वैसे ही जैसे अन्य जानवर और पक्षी प्रजनन के लिए मादा को रिझाने के लिए विभिन्न करतब दिखाते हैं। मोर भी इसी तरह नाचकर मोरनी को अपनी ओर आकर्षित करने का प्रयास करते हैं।
तो, अब आप समझ गए होंगे कि मोर बारिश का संकेत देने के लिए नहीं नाचते, बल्कि वे केवल प्रजनन के मौसम में मोरनी को रिझाने के लिए नृत्य करते हैं, ताकि मोरनी उन्हें अपना पार्टनर चुन ले। यह प्रकृति का एक अद्भुत और स्वाभाविक प्रक्रिया है!