हिन्दुस्तान जिं़क के ऊंची उड़ान कार्यक्रम ने ग्रामीण विद्यार्थियों को दिये हौसलों के पंख
भारत की सबसे बड़ी और दुनिया की दूसरी सबसे बड़ी एकीकृत जिंक उत्पादक कंपनी हिंदुस्तान जिंक लिमिटेड ने एल्यूमिनी मीट 2024 में अपनी प्रमुख सीएसआर पहल ऊंची उड़ान के 180 से अधिक पूर्व छात्रों का सम्मान किया। ऊंची उड़ान पहल का उद्देश्य राजस्थान के वंचित ग्रामीण क्षेत्र के युवाओं को उनकी इंजीनियरिंग करने की सफलता हेतु सशक्त बनाना है। इस कार्यक्रम में पूर्व छात्रों, अभिभावकों और शिक्षकों ने मुख्य अतिथि, हिन्दुस्तान जिं़क के मुख्य कार्यकारी अधिकारी अरुण मिश्रा के साथ-साथ हिन्दुस्तान जिं़क, विद्या भवन सोसाइटी और रेजोनेंस ट्रेनिंग इंस्टीट्यूट के प्रतिनिधियों की उपस्थिति में उत्साहपूर्वक भाग लिया। समारोह में न केवल पूर्व स्नातकों की उपलब्धियों हेतु उन्हें सम्मानित किया गया, बल्कि यह आयोजन वर्तमान में संचालित तीन बैच के लिए प्रेरणा और प्रोत्साहन का स्रोत भी रहा।
2017 में स्थापित, हिन्दुस्तान जिं़क की ऊंची उड़ान, विद्या भवन सोसाइटी और रेजोनेंस ट्रेनिंग इंस्टीट्यूट के सहयोग से, राजस्थान के युवाओं को उनकी इंजीनियरिंग करने का मार्ग प्रशस्त कर रहा है। यह प्रमुख पहल तीन वर्ष का व्यापक आवासीय प्रशिक्षण प्रदान करती है, जो छात्रों को 10 वीं और 12 वीं की बोर्ड परीक्षाओं में उत्कृष्टता प्राप्त करने में सक्षम बनाती है, साथ ही उन्हें आईआईटी-जेईई मेन्स जैसी प्रतिष्ठित प्रतियोगी परीक्षाओं के लिए तैयार करती है। अत्याधुनिक शैक्षणिक सहायता, शीर्ष संकाय और अत्याधुनिक आवासीय अकादमी के साथ, ऊंची उड़ान ने अब तक लगभग 300 छात्रों को लाभान्वित कर उनके सपनों को हौसलों के पंख दिये है।
इस अवसर पर हिन्दुस्तान जिं़क के मुख्य कार्यकारी अधिकारी अरुण मिश्रा ने कहा कि, ऊंची उड़ान सिर्फ एक शैक्षिक कार्यक्रम नहीं है, यह एक दूरदर्शी योजना है जो जीवन को बदलने और इंजीनियरों की एक पीढ़ी को तैयार करने के लिए शुरू कि गया है जो कि राजस्थान और भारत के भविष्य के निर्माता बनेंगे। ज्ञान, मार्गदर्शन और अवसरों की मजबूत नींव प्रदान कर, हम युवाओं को उनकी बाधाओं को पार करने और अग्रणी नवाचारों के लिए सशक्त बना रहे हैं जो देश की प्रगति और समृद्धि को आगे बढ़ाएंगे।
हिन्दुस्तान जिं़क की ऊंची उड़ान पहल ने अब तक 9 बैच संचालित कर लगभग 300 छात्रों को सशक्त बनाया है, जिसमें 50 प्रतिशत से अधिक बालिकाएं हैं इस पहल ने उल्लेखनीय सफलता हासिल की है, जिसमें 15 विद्यार्थियों जिनमें 8 छात्र, 7 छात्राओं ने प्रतिष्ठित आईआईटी और एनआईटी में प्रवेश प्राप्त किया है, 125 विद्यार्थियों में से 69 छात्र और 56 छात्राओं ने सरकारी इंजीनियरिंग कॉलेजों में प्रवेश लिया है, और 6 विद्यार्थियों में से 2 छात्र और 4 छात्राओं ने निजी इंजीनियरिंग कॉलेजों में अपनी पहचान बनाई है। संभावना और अवसर के बीच की दूूरी को दूर कर, ऊँची उड़ान राजस्थान में इंजीनियरिंग प्रतिभाओं के भविष्य को आकार दे रहस है। ऊँची उड़ान की विरासत शिक्षा और अवसर की शक्ति का प्रमाण है।
ऊँची उड़ान की पूर्व छात्रा सुनीता डांगी ने अपने अनुभव साझा करते हुए कहा कि ऊँची उड़ान से पहले, गुणवत्तापूर्ण शिक्षा तक पहुँच बहुत कठिन कार्य लगता था। हिन्दुस्तान जिं़क के सहयोग और प्रशिक्षण से सीटीएई में प्रवेश हेतु सफलता हासिल की। इस कार्यक्रम ने न केवल मुझे अपनी चुनौतियों से उबरने में मदद की है, बल्कि मुझे बड़े सपने देखने और भारत के विकास में योगदान के लिए भी प्रेरित किया है। हिन्दुस्तान जिं़क प्रदेश के युवाओं के लिए उज्जवल, अधिक न्यायसंगत भविष्य बनाने, उन्हें अपने सपनों को पूरा करने और राष्ट्र के विकास में योगदान देने के लिए सशक्त बनाने के अपने मिशन में दृढ़ है। ऊंची उड़ान के साथ ही, हिन्दुस्तान जिं़क शिक्षा, स्वास्थ्य सेवा, महिला सशक्तिकरण, जल और स्वच्छता, कौशल विकास और बुनियादी ढांचे में वृद्धि के साथ अपनी व्यापक सीएसआर पहलों के माध्यम से गहन सामाजिक परिवर्तन ला रहा है। शिक्षा संबल, जीवन तरंग, जिंक फुटबॉल अकादमी, सखी और समाधान जैसे प्रमुख कार्यक्रमों ने 3,700 गांवों में लगभग 20 लाख लोगों के जीवन पर सकारात्मक प्रभाव डाला है। डिजिटल साक्षरता को बढ़ावा देने और छात्रवृत्ति प्रदान करने, स्वयं सहायता समूहों को बढ़ावा देने और ग्रामीण खेलों को बढ़ावा देने तक, समुदायों के उत्थान और अपने परिचालन क्षेत्रों के सामाजिक-आर्थिक ढांचे को मजबूत करने हेतु प्रतिबद्ध है।