पुरानी बीमारी बता खारिज किया एक्सीडेन्ट बीमा क्लेम, बीमा कंपनी को अब देना पड़ेगा 50 लाख 60 हजार रुपये का हर्जाना
भीलवाड़ा बीएचएन। जिला उपभोक्ता प्रतितोष आयोग ने निवा बुपा हेल्थ इंश्योरेंस कंपनी पर 50 लाख 60 हजार रुपये का हर्जाना लगाया है। आरोप है कि बीमा कंपनी ने एक्सीडेंट बीमा क्लेम को पुरानी बीमारी बताकर खारिज कर दिया था। इसे लेकर परिवादी ने आयोग के समक्ष परिवाद पेश किया था।
मिली जानकारी के अनुसार, जिला उपभोक्ता विवाद प्रतितोष आयोग भीलवाड़ा के समक्ष परिवादी शंकर लाल बंजारा व अन्य ने एक परिवाद पेश किया कि परिवादी पक्ष के परिजन खेमा बंजारा ने निवा बुपा हेल्थ इश्योरेन्स कंपनी से एक पर्सनल एक्सीडेन्ट प्लान पॉलिसी खरीदी। 02 अगस्त 2022 को बीमित खेमा बंजारा की सडक़ दुर्घटना में सिर में गंभीर चोटें लगने के कारण बीमा अवधि के दौरान मृत्यु हो गयी। इस संबंध में पुलिस थाना गंगापुर में रिपोर्ट भी दर्ज करवायी गयी । साथ ही परिवादी पक्ष ने बीमा कंपनी से क्लेम प्राप्त करने के लिए सभी आवश्यक दस्तावेज के साथ क्लेम किया । लेकिन बीमा कंपनी ने इस क्लेम को काफी समय तक लंबित रखने के बाद 20 मार्च 2023 को बीमित खेमा बंजारा के लंग्स व लीवर में खराबी होना बताते हुए अनुचित रूप से क्लेम खारिज कर दिया। इससे व्यतित हो परिवादी ने अधिवक्ता अनुज कुमार बापना के माध्यम से आयोग में यह परिवाद पेश किया। आयोग ने परिवाद स्वीकार करते हुए माना कि विपक्षी बीमा कम्पनी ने यह क्लेम बिना किसी समुचित आधार के खारिज किया,ख्जो अनुचित व्यापार व्यवहार एवं सेवादोष की श्रेणी में आता है। इसके चलते बीमा कम्पनी को यह आदेश दिया गया कि वह उक्त बीमा राशि 50 लाख रूपये (9 प्रतिशत वार्षिक ब्याज दर से) व मानसिक संताप स्वरूप राशि 30 हजार रूपये तथा अधिवक्ता शुल्क 30 हजार रूपये सहित कुल 50 लाख 60 हजार रूपये 2 माह में अदा करे।