संसद में लगातार तीसरे दिन हंमागा: एसआईआर पर बढी रार, कार्यवाही दिन भर के लिए स्थगित

नयी दिल्ली बिहार में चुनाव आयोग के मतदाता सूची के विशेष गहन पुनरीक्षण(एसआईआर) के विरोध में लामबंद विपक्ष ने लगातार दूसरे दिन बुधवार को भी राज्यसभा में जोरदार हंगामा किया जिसके कारण दो बार के स्थगन के बाद सदन की कार्यवाही दिन भर के लिए स्थगित कर दी गयी।
मानसून सत्र का आज तीसरा दिन है और बिहार में मतदाता सूची के पुनरीक्षण का विरोध कर रहे विपक्षी दलों के हंगामे के कारण राज्यसभा में पिछले दो दिन से कोई विधायी कामकाज नहीं हो सका है।
पीठासीन उप सभापति भुवनेश्वर कलिता ने दूसरे स्थगन के बाद दो बजे सदन की कार्यवाही शुरू करते हुए पत्तन, पोत परिवहन और जलमार्ग मंत्री सर्बानंद सोनोवाल को ‘समुद्र द्वारा माल वहन विधेयक 2025’ चर्चा और पारित करने के लिए सदन में पेश करने को कहा।
इस बीच विपक्षी दलों के सदस्य अपनी जगह से उठकर आसन के निकट आकर खड़े हो गये। वे बिहार में मतदाता सूची के विशेष गहन पुनरीक्षण के मुद्दे पर चर्चा की मांग करते हुए ‘एसआईआर वापस लो’ के नारे लगाने लगे। हंगामे के बीच ही श्री सोनोवाल ने विधेयक पेश कर दिया।
पीठासीन उप सभापति ने अन्नाद्रमुक के एम तंबी दुरै को विधेयक पर चर्चा शुरू करने को कहा। श्री दुरै के बोलने के लिए खड़े होते ही विपक्षी सदस्यों ने नारेबाजी तेज कर दी। उप सभापति ने सदस्यों से शांत होने तथा अपनी जगहोंं पर लाैटने की अपील की लेकिन इसका असर न होते देख उन्होंने सदन की कार्यवाही दिन भर के लिए स्थगित कर दी
इससे पहले भी विपक्षी सदस्यों के हंगामे के कारण कार्यवाही पहले बारह बजे और फिर दो बजे तक स्थगित करनी पड़ी थी। इस तरह उच्च सदन में दूसरे दिन भी कोई विधायी कामकाज नहीं हो सका।
राज्यसभा में आज 25 सदस्यों ने नियम 267 के तहत कार्यस्थगन प्रस्ताव के दिये थे।
सर्वश्री अखिलेश प्रसाद सिंह, रजनी पाटिल, रंजीत रंजन, नीरज डांगी , साकेत गोखले, अशोक सिंह, नासिर हुसैन, जॉन ब्रिटास, मोहम्मद नदीमुल हक, टी सी चन्द्रशेखर, महुआ माझी, तिरूचि शिवा, सुष्मिता देव , अब्दुल वहाब और रेणुका चौधरी ने अपने नाेटिसों में सभी विधायी कामकाज रोककर चुनाव आयोग के बिहार में विशेष गहन पुनरीक्षण के मुद्दे पर चर्चा कराने की मांग की थी जबकि आम आदमी पार्टी के संदीप पाठक