भीलवाड़ा, बीएचएन । नगर विकास न्यास (यूआईटी) की 16 अक्टूबर को हुई भूखंड आवंटन लॉटरी अब विवादों में घिर गई है। लॉटरी प्रक्रिया में बड़े पैमाने पर अनियमितताओं के आरोप लगाते हुए नागरिक प्रतिनिधियों और सामाजिक कार्यकर्ताओं ने राजस्थान प्रदेश कांग्रेस कमेटी के सदस्य मनोज पालीवाल के नेतृत्व में नगर विकास न्यास सचिव को ज्ञापन देकर लॉटरी को तत्काल प्रभाव से निरस्त करने की मांग की है।
ये लगाये आरोप, गिनाई कमियां
यूआईटी सचिव को दिए ज्ञापन में कहा है कि लॉटरी प्रक्रिया में नियमों का उल्लंघन हुआ और पारदर्शिता नहीं बरती गई।
1. प्रत्येक योजना की आरक्षण श्रेणीवार अलग लॉटरी निकाले जाने के नियम का पालन नहीं किया गया।
2. हर योजना म 10 प्रतिशत वेटिंग लिस्ट की लॉटरी नहीं निकाली गई।
3. ऑनलाइन फॉर्म फीडिंग में भारी त्रुटियां पाई गईं — 3081 आवेदकों के फॉर्म में गलतियां सामने आने के बाद भी जांच नहीं हुई।
4. फॉर्म जांच के लिए नियुक्त 41 कर्मचारियों ने किस प्रकार से सत्यापन किया, यह स्पष्ट नहीं किया गया।
5. सही फॉर्मों की योजनावार सूची प्रकाशित नहीं की गई, जिससे गलतियां समय पर पकड़ में नहीं आ सकीं।
6. प्लॉट संख्या, साइज और क्रमांक लॉटरी से पूर्व पोर्टल पर अपलोड नहीं किए गए, जिससे प्रक्रिया की निष्पक्षता पर सवाल उठे।
7. लॉटरी में पहले से मुआवजे में दिए गए प्लॉट दोबारा शामिल कर अलॉटमेंट कर दिया गया।
8. कॉर्नर प्लॉटों की दरें अलग दर्शाए बिना आवंटन कर दिया गया।
9. लॉटरी में उपयोग किए गए अंकों (0 से 9) में रिपीटेशन पाया गया, जिससे तकनीकी पारदर्शिता पर प्रश्न उठे।
10. अब तक यह जानकारी सार्वजनिक नहीं की गई कि किस योजना में कितने आवेदन आए।
11. लॉटरी डाटा की जांच के बाद भी त्रुटि होने पर किसी अधिकारी पर कार्यवाही नहीं की गइ ।
12. एक व्यक्ति को एक से अधिक योजनाओं में आवंटन से रोकने की प्रणाली लागू नहीं की गई ।
13. जेडीए के सॉफ्टवेयर का डेमो जनता को नहीं दिखाया गया , सीधे लॉटरी प्रक्रिया शुरू कर दी गई।
यूआईटी ने आवेदकों के साथ अन्याय किया
आवेदनकर्ताओं का कहना है कि करीब 90,000 आवेदकों के भविष्य के साथ खिलवाड हुआ है। आरोप है कि यूआईटी प्रशासन ने नियमों की अनदेखी कर अपनी शक्तियों का दुरुपयोग किया और आवंटन पत्र देने की जल्दबाजी में पारदर्शिता को दरकिनार कर दिया।
निरस्त करने और जांच की मांग
शिकायतकर्ताओं ने मांग की है कि पूरी लॉटरी प्रक्रिया को रद्द कर पुन: निष्पक्ष लॉटर करवाई जाए। साथ ही, जिम्मेदार अधिकारियों पर जांच कर कार्रवाई की जाए।
उन्होंने चेतावनी दी है कि यदि प्रशासन ने कार्रवाई नहीं की तो जन आंदोलन शुरू किया जाएगा और आमजन को न्याय दिलाने के लिए संघर्ष किया जाएगा। लॉटरी निरस्त नहीं होगी-जांच हो जाएगी
नगर विकास न्यास सेक्रेटरी ललित गोयल ने बताया कि कांग्रेस द्वारा जो आज प्रदर्शन किया गया है ओर ज्ञापन में जो तथ्य आए हैं उसकी हम जांच करवाएंगे। लॉटरी प्रभारी यूआईटी ओएसडी आरएएस अधिकारी चिमन लाल को बना दिया है।
कलेक्टर के निर्देशन में एक कमेटी बनाई दी गई है। जो इस मामले में जांच करेगी। हम देखेंगे इसमें क्या दिक्कत आई है। इस पूरी प्रक्रिया को निरस्त नहीं किया जाएगा क्योंकि इसकी जांच की जाएगी।
