RGHS में 'दवा की जगह किराना' लेने वालों की खैर नहीं, मुख्य सचिव का अल्टीमेटम, हफ्ते भर में होंगे सस्पेंड!
जयपुर: राजस्थान गवर्नमेंट हेल्थ स्कीम (RGHS) में चल रहे फर्जीवाड़े पर अब सरकार ने अपना शिकंजा कस लिया है। योजना की आड़ में दवाओं के बदले घरेलू सामान और किराना उठाने वाले सरकारी कर्मचारियों पर बड़ी कार्रवाई की तैयारी हो चुकी है। सोमवार को सचिवालय में हुई एक उच्च-स्तरीय बैठक में मुख्य सचिव सुधांश पंत ने इस घोटाले पर बेहद सख्त रुख अपनाते हुए संबंधित विभागों को एक हफ्ते का अल्टीमेटम दिया है।
मुख्य सचिव ने दिए निलंबन के स्पष्ट निर्देश
मुख्य सचिव सुधांश पंत की अध्यक्षता में हुई सचिवों की कमेटी की बैठक में यह मुद्दा प्रमुखता से उठा। बैठक के दौरान मुख्य सचिव ने विभिन्न विभागों के प्रमुखों को साफ और कड़े शब्दों में निर्देश दिया कि जिन भी कर्मचारियों ने RGHS योजना का दुरुपयोग किया है, उनकी पहचान कर उन्हें तत्काल प्रभाव से निलंबित किया जाए। उन्होंने इस कार्रवाई के लिए केवल एक सप्ताह की समय-सीमा तय की है।
पारदर्शिता लाने पर सरकार का जोर
मुख्य सचिव पंत ने कहा कि इस तरह की सख्त कार्रवाई का उद्देश्य योजना में हर स्तर पर पारदर्शिता लाना और भविष्य में होने वाले ऐसे घोटालों पर रोक लगाना है। सरकार यह सुनिश्चित करना चाहती है कि स्वास्थ्य के लिए बनी इस महत्वपूर्ण योजना का लाभ केवल हकदार लोगों तक ही पहुंचे और इसका किसी भी तरह से दुरुपयोग न हो। इस फैसले से प्रदेश के उन सरकारी कर्मचारियों में हड़कंप मच गया है, जिन्होंने योजना के नियमों को ताक पर रखकर निजी फायदे के लिए इसका इस्तेमाल किया।