प्यार परवान चढ़ता है...!

हमें एकसाथ देखकर सभी को खलता है,
देख रही हैं दुनिया प्यार परवान चढ़ता है।
अभी से उंगलियां उठ रही इस दोस्ती पर,
कुछ गौर किया करों ये हमारी बेबसी पर।
थोड़ा ही समय गुजारा घूरने लगती आँखें,
क्या? बिगड़ जाएगा जो दूर बैठोगे जाके।
हमें एकसाथ देखकर सभी को खलता है,
देख रही हैं दुनिया प्यार परवान चढ़ता है।
क्या? तुमने प्यार नहीं किया-अरे मत करो,
हमें करने दो, क्यों कहा ज़माने से ना डरो।
हाँ, इतना तो तय है गुनाह तो नहीं किया,
एक-दूसरे से हमने प्यार तो बेपनाह किया।
हमें एकसाथ देखकर सभी को खलता है,
देख रही हैं दुनिया प्यार परवान चढ़ता है।
उम्मीद करते हैं मिलेगी आपकी रजामंदी,
जीवन में एक ही बार चाहिए होती संधि।
चाहते हैं हश्र न हो इस प्यार का गमगीन,
कोई जीते-हारें, मिलन हो मीठा-नमकीन।
संजय एम तराणेकर