हाईकोर्ट के आदेश भी बेअसर?: बिजौलिया–कांस्या–काठबड़ा में सेंडस्टोन का अवैध खनन लगातार जारी
भीलवाड़ा(हलचल)
बिजौलिया थाना क्षेत्र के कासिया, नया नगर, काठबड़ा, तिलस्वा और आसपास के इलाकों में सेंडस्टोन का अवैध खनन पहले की तरह दिन-रात जारी है, मानो कोर्ट के निर्देशों क से किसी को किसी का डर ही नहीं हो।
हाल ही में राजस्थान उच्च न्यायालय ने पूरे प्रदेश में शॉर्ट टर्म परमिट (STP) और अवैध खनन पर तत्काल रोक लगाने के सख्त निर्देश दिए थे। कोर्ट ने साफ कहा था कि अवैध खनन हुआ तो संबंधित माइनिंग इंजीनियर व्यक्तिगत रूप से जिम्मेदार होंगे, और पुलिस को निर्देश दिया था कि ऐसी खदानों को तुरंत सीज किया जाए।लेकिन जमीनी हकीकत कुछ और ही कहानी बयां कर रही है।
बिजौलिया में हाईकोर्ट की सख्ती ‘हवा-हवाई’!
कोर्ट के कठोर आदेशों के बावजूद बिजौलिया, कासिया और आसपास के सेंडस्टोन क्षेत्र में
खनिज विभाग, वन विभाग और राजस्व विभाग की जमीन पर बिना रोक-टोक अवैध खनन जारी है।
ना खदानें सीज हुईं, न मशीनें रुकीं, न ट्रैक्टर-डंपरों की रफ्तार धीमी पड़ी।
स्थानीय लोगों में चर्चा है कि प्रभावशाली लोगों की मिलीभगत से खनन माफिया बेखौफ होकर काम कर रहा है, और विभागों की मौजूदगी के बावजूद कार्रवाई का नामोनिशान नहीं है।
लोगों का बड़ा सवाल—क्या कोर्ट के आदेश भी धरे रह जाएंगे?
ग्रामीणों में यह सवाल जोर पकड़ रहा है कि—
“अगर हाईकोर्ट के आदेश भी इन इलाकों में लागू नहीं होंगे, तो फिर अवैध खनन कौन रोकेगा…?”
सरकार को करोड़ों का नुकसान होने के साथ-साथ
पर्यावरण को गंभीर क्षति पहुँच रही है, लेकिन विभागों की चुप्पी कई सवाल खड़े कर रही है।
