अनुदान मांगें पारितः: कांग्रेस शासन में जारी 13 लाख पट्टों की जांच होगी, कोटा रिवर फ्रंट घाटे का सौदाः खर्रा
जयपुर। नगरीय विकास एवं स्वायत्त शासन राज्यमंत्री झाबर सिंह खर्रा ने कहा कि मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा के कुशल नेतृत्व और मार्गदर्शन में जन आकांक्षाओं के अनुरूप प्रस्तुत बजट से ‘विकसित राजस्थान‘ का लक्ष्य साकार होगा। हमारी सरकार प्रदेश के चहुमुंखी विकास के लिए कृत संकल्पित हैं। हमने प्रदेश के सुनियोजित विकास के लिए लक्ष्य निर्धारित किए हैं। सरकार पूर्ण मनोयोग से लक्ष्यों की प्राप्ति के लिए कार्य कर रही हैं।
नगरीय विकास एवं स्वायत्त शासन मंत्री शुक्रवार को विधान सभा में नगरीय विकास विभाग एवं स्वायत्त शासन विभाग की अनुदान मांगों पर हुई बहस का जवाब दे रहे थे। चर्चा के बाद सदन ने नगरीय विकास विभाग की 64 करोड़ 86 लाख 97 हजार रूपए एवं स्वायत्त शासन विभाग की 125 अरब 60 करोड़ 86 लाख 77 हजार रूपए की अनुदान मांगें ध्वनिमत से पारित कर दीं।
खर्रा ने कहा कि पिछली कांग्रेस सरकार द्वारा 13 लाख से अधिक पट्टे वितरित किए गए। इसमें विभिन्न अनियमितताएं सामने आई हैं। इसकी जांच कर 21 एफआईआर दर्ज की जा चुकी हैं। दोषियों पर कड़ी कार्रवाई करेंगे। उन्होंने कहाकि गत सरकार में विभिन्न शहरों में एफएसटीपी कार्यों में 1 हजार 174 करोड़ रूपए के घोटाले की जांच के लिए 18 फरवरी 2025 को आदेश जारी कर दिए गए हैं।
खर्रा ने कहा कि चम्बल रिवर फ्रंट के रख-रखाव में प्रतिमाह 2 करोड़ रूपए व्यय हो रहे हैं, जबकि प्रतिमाह आय आधी ही है। ज्यादातर दुकानों का भी आवंटन नहीं हो सका। इससे कोटा विकास प्राधिकरण को हर माह भारी नुकसान झेलना पड़ रहा है। पर्याप्त पौधारोपण नहीं होने से पर्यटकों को गर्मी में परेशानी हो रही है। यह घाटे का सौदा साबित हो रहा है।
खर्रा ने कहा कि राइजिंग राजस्थान के तहत विभाग में 574 एमओयू स्वीकृत किए गए हैं। इसमें लगभग 1 लाख 25 हजार करोड़ रूपए का निवेश प्राप्त होगा। प्रत्यक्ष-अप्रत्यक्ष रूप से 1 लाख से अधिक रोजगार सृजित होंगे। भरतपुर और बीकानेर विकास प्राधिकरण का गठन किया गया है।
भू-उपयोग परिवर्तन की प्रक्रिया में सरलीकरण के लिए ‘डवलपमेंट प्रमोशन एंड कन्ट्रोल रेग्यूलेशन (डीपीसीआर)’ लागू की गई है। डीपीसीआर के अंतर्गत राजस्थान नगरीय क्षेत्र भू-उपयोग परिवर्तन नियम-2010 में भी सरलीकरण की दृष्टि से प्रावधानों में संशोधन किया जा चुका है। उन्होंने कहा कि गत सरकार के 5 वर्षों में जयपुर विकास प्राधिकरण की कुल 8 परियोजनाएं ला गई जबकि हमारी सरकार ने प्रथम वर्ष में ही 7 परियोजनाएं लाएंगे, जिनमें 3 ला चुके हैं और 4 इसी वित्तीय वर्ष में लेकर आएंगे।
राज्य में शीघ्र लागू होगी विभिन्न पॉलिसियांः
नगरीय विकास एवं स्वायत्त शासन मंत्री ने कहा कि नवीन राजस्थान टाउनशिप पॉलिसी-2024 (प्रारूप) और नगरीय क्षेत्र में स्थित पहाड़ों के संरक्षण के लिए विनियम-2024 ‘हिल पॉलिसी‘ का प्रारूप तैयार कर लिया गया है। व्यापक जनहित को देखते हुए आमजन से प्राप्त सुझावों की समीक्षा अनुसार एक माह में लागू कर दिया जाएगा। उन्होंने कहा कि वर्ष 2012 में ट्रांसफेरेबल डवलपमेंट राइट (टीडीआर) पॉलिसी जारी की गई थी। इसमें गत सरकार ने कोई योजना नहीं बनाई। अब हमारी सरकार पॉलिसी का पुनरावलोकन कर नई टीडीआर पॉलिसी को 3 माह में जारी करेगी।
खर्रा ने कहा कि हमारी सरकार ने नए भवन विनियमों ‘मॉडल राजस्थान भवन विनियम-2024‘ का प्रारूप तैयार कर लिया है। इसे भी एक माह में लागू कर दिया जाएगा। उन्होंने कहा कि निम्न आय वर्ग को अधिकाधिक आवास मूलभूत सुविधाओं के साथ उपलब्ध कराने के लिए नगरीय विकास एवं आवासन विभाग ने जुलाई, 2024 को नवीन योजना ‘मुख्यमंत्री जन आवास योजना-2024‘ का प्रारूप जारी किया है।6