बिजौलिया में स्टोन क्रेशर और माइंस की अनिश्चितकालीन हड़ताल से मजदूरों पर रोजगार का संकट!
भीलवाड़ा/बिजौलियां! सेंडस्टोन खनन के लिए विख्यात बिजौलियां में आज से ही सेंडस्टोन से टाइल्स बनाने वाली फैक्ट्रियों व स्टॉक मालिकों ने अनिश्चितकालीन हड़ताल शुरू कर दी है। इसी के साथ लोडिंग और अनलोडिंग भी पूरी तरह बंद हो गया। इससे लगभग 5 हजार मजदूरों के सामने रोजगार का संकट पैदा हो गया।
राजस्थान स्टोन क्रेशर एवं माइंस एसोसिएशन की ओर राज्य सरकार की उद्योग विरोधी नीतियों के खिलाफ अनिश्चितकालीन हड़ताल का ऐलान किया गया। आज सुबह शक्करगढ़ चौराहे पर सैकड़ों मजदूर रोजाना की तरह काम की तलाश में जुटे थे, लेकिन उन्हें हड़ताल की जानकारी मिलते ही असमंजस की स्थिति पैदा हो गई। बाद में कई मजदूर सडक़ पर बैठकर हड़ताल समाप्त करने की मांग करने लगे। ऊपरमाल बिजौलिया सेंडस्टोन विकास समिति ने भी राजस्थान माइंस लीज होल्डर और राजस्थान माइंस संगठन के समर्थन में खनन कार्य पूरी तरह बंद करने का निर्णय लिया है। समिति अध्यक्ष नरोत्तम धाकड़ ने बताया कि क्षेत्र की सभी पत्थर कटर मशीनें, स्टॉक यार्ड, लोडिंग-अनलोडिंग कार्य पूर्णत: बंद रहेंगे, जिससे लगभग 5 हजार मजदूरों के सामने रोजग़ार का संकट खड़ा हो गया है। सेंड स्टोन व्यवसायी देवकीनंदन साहू ने बताया की -बार-बार नियमों में बदलाव से उद्योगों में अस्थिरता, जिला व विभागीय अधिकारियों द्वारा उत्पीडऩ, पर्यावरणीय मंजूरी की धीमी प्रक्रिया, छोटे व्यवसायियों पर आर्थिक संकट, रॉयल्टी दरों में अत्यधिक बढ़ोतरी, खान मालिकों को ड्रोन सर्वे कराने के अनिवार्य निर्देश के चलते हड़ताल का फैसला लिया गया। बिजौलिया क्षेत्र से अभी ऑफ सीजन में प्रतिदिन 50 से अधिक माल वाहनों के जरिए पत्थर की सप्लाई होती है। हड़ताल के चलते यह परिवहन भी रुक गया है, जिससे निर्माण कार्यों पर व्यापक असर पड़ा है।