शिक्षा के साथ-साथ संस्कार भी जरूरी -मंत्री दिलावर
राजसमंद( राव दिलीप सिंह)शिक्षा और पंचायतीराज मंत्री श्री मदन दिलावर शनिवार को राजसमंद जिले के सघन दौरे पर रहे। उन्होंने सुबह से लेकर शाम तक कांकरोली, भावा, पिपरडा, पिपलांत्री सहित अन्य जगहों पर विभिन्न कार्यक्रमों में शिरकत की। मंत्री ने अपने अलग-अलग कार्यक्रमों में पर्यावरण संरक्षण और शिक्षा पर जोर दिया। सर्किट हाउस में आयोजित प्रेस वार्ता में सरकार की उपलब्धियां भी गिनाई और तृतीय श्रेणी शिक्षक भर्ती में महिलाओं को 50 फीसदी आरक्षण प्रदान करने के निर्णय को महिला सशक्तिकरण की दिशा में महत्वपूर्ण कदम बताया। उनके दौरे में कुंभलगढ़ विधायक सुरेन्द्र सिंह राठौड़, जिला प्रमुख रतनी देवी चौधरी, मान सिंह बारहठ, राजसमंद प्रधान अरविन्द सिंह राठौड़, नर्बदा शंकर पालीवाल, जवाहर जाट, मुकेश जोशी, माधव चौधरी, दिग्विजय सिंह भाटी सहित विभिन्न स्थानीय जनप्रतिनिधि मौजूद रहे। पीपरडा ग्राम में कार्यकर्ता शंकर खींची को मातृशोक होने पर उनके घर जाकर श्रद्धांजलि अर्पित की। सुबह समाजसेवी एवं बालाजी धाम उमराया के ट्रस्टी महेंद्र कोठारी के निवास पर अल्पाहार लिया। साथ ही तरसिंगडा ग्राम में एक निर्धन आदिवासी रूपलाल के निमंत्रण पर उसके घर जाकर भोजन किया।
अव्वल छात्र-छात्राओं का किया सम्मान
शिक्षा मंत्री श्री मदन दिलावर ने कांकरोली में अणुव्रत विश्व भारती सभागार में आयोजित प्रतिभा सम्मान समारोह में बतौर मुख्य अतिथि शिरकत की। उन्होंने स्कूल शिक्षा में 104 अव्वल छात्र-छात्राओं को सम्मानित किया। उन्होंने माध्यमिक शिक्षा परीक्षा 2024 (10 वीं) में 99.67 प्रतिशत अर्जित कर राज्य में प्रथम स्थान प्राप्त करने वाली हर्षिका मेहरा पिता अविनाश मेहरा को सम्मानित किया। 12 वीं की परीक्षा में कला वर्ग में जिले की टॉपर भव्या शर्मा (97.80 प्रतिशत), आस्था इटोदिया (97.80 प्रतिशत), विज्ञान वर्ग में जिले की टॉपर रीतिका श्रीमाली (97.40 प्रतिशत) तथा वाणिज्य वर्ग में जिले के टॉपर कुणाल जैन (99 प्रतिशत) को सम्मानित किया। इसके साथ ही विभिन्न विद्यालयों के अन्य छात्र-छात्राओं का भी सम्मान किया। इसके साथ ही भावा स्थित एक निजी विद्यालय में आयोजित कार्यक्रम में भी उन्होंने शिरकत की जहां मंत्री श्री दिलावर का विभिन्न संगठनों द्वारा सम्मान किया गया। इसके अलावा सनवाड़ स्थित आर के राउमावि में भी संगठनों ने उनका सम्मान कर जिले में आने पर स्वागत किया।
संस्कार युक्त शिक्षा जरूरी
अपने संबोधन में मंत्री श्री दिलावर ने कहा कि नई जनरेशन में प्रचुर क्षमता है, बस उन्हें को अवसर देने की जरूरत है। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार प्रदेश में शिक्षा के स्तर को सुधारने की दिशा में निरंतर प्रयास कर रही है। उन्होंने कहा कि राजस्थान में प्रतिभाओं की कोई कमी नहीं है, वे अपेक्षा करते हैं कि राज्य के शिक्षक मिलकर और बेहतर परिणाम अगले वर्ष देंगे। उन्होंने कहा कि बहुत ज्यादा अंक लाना ही पर्याप्त नहीं है, बच्चों को अच्छे संस्कार देना भी जरूरी आई। उन्होंने कहा कि बच्चों में शिक्षा के साथ-साथ संस्कारों का अंकुरण भी होना चाहिए, शिक्षा के साथ-साथ संस्कार होंगे तो सोने पर सुहागा हो जाएगा। उन्होंने कहा कि संगत का भी व्यक्ति के जीवन पर बहुत प्रभाव होता है, परिवार को ध्यान देना चाहिए कि उनके बच्चे की दोस्ती किस व्यक्ति से है, वह किसके साथ उठता बैठता है, संस्कार युक्त शिक्षा जरूरी है।
हर व्यक्ति पेड़ जरूर लगाए
उन्होंने पर्यावरण के महत्व पर भी प्रकाश डाला और कहा कि पेड़ हमारे जीवन का मूलभूत आधार हैं, पेड़ हमें छाया, ऑक्सीजन और सब कुछ देते हैं। पेड़ों से तापमान काम होता है, प्रदूषण कम होता है और भी अनेक फायदे मिलते हैं लेकिन दुर्भाग्य से मानव ने अपने लालच में पेड़ों को काटने का काम किया है जिससे आज गर्मी निरंतर बढ़ रही है और असहनीय हो रही है। उन्होंने कहा कि हर व्यक्ति को पेड़ जरूर लगाना चाहिए। उन्होंने कहा कि अगस्त में राज्य सरकार एक महाअभियान आयोजित करने जा रही है जिसके माध्यम से प्रदेश में सघन वृक्षारोपण किया जाएगा। उन्होंने कहा कि सभी संगठन, संस्थाएं, व्यायसायी, आमजन पौधारोपण में आगे आए, सरकार द्वारा स्थानीय निकाय विभाग और पंचायतीराज विभाग के माध्यम से सभी को हर संभव सहयोग दिया जाएगा। उन्होंने मंच से ‘एक पेड़, देश के नाम’ का नारा दिया।
तृतीय श्रेणी शिक्षक भर्ती में महिलाओं को मिलेगा 50 फीसदी आरक्षण
शिक्षा मंत्री श्री मदन दिलावर ने सर्किट हाउस में आयोजित प्रेस वार्ता में कहा कि माननीय मुख्यमंत्री श्री भजन लाल शर्मा के नेतृत्व में राज्य सरकार ने तृतीय श्रेणी शिक्षक भर्ती में महिलाओं के लिए 50 प्रतिशत आरक्षण का प्रावधान लागू किया है, इसके लिए राजस्थान पंचायतीराज अधिनियम में संशोधन के प्रस्ताव को मंजूरी प्रदान की है। उन्होंने कहा कि इस निर्णय से प्रदेश की महिलाओं को काफी लाभ मिलेगा और महिला सशक्तिकरण की दिशा में यह महत्वपूर्ण कदम होगा। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार प्रदेश में शिक्षा के स्तर को सुधारने, विद्यालयों में सुविधाओं के विस्तार, कार्मिकों की कमी आदि दिशा में भरपूर प्रयास कर रही है। उन्होंने प्रेस वार्ता में भी आमजन से पौधारोपण की अपील की।
आदिवासी रूपलाल के घर खाना खाया
शिक्षा मंत्री श्री मदन दिलावर को कई जगहों से भोजन के निमंत्रण थे लेकिन उन्होंने एक आदिवासी के घर जाकर भोजन किया। उन्होंने तरसिंगडा ग्राम में एक निर्धन आदिवासी श्री रूपलाल गमेती के निमंत्रण पर उसके घर जाकर भोजन किया। इस दौरान रूपलाल की खुशी का ठिकाना न रहा। उसने कहा कि काभी सोचा नहीं था राज्य सरकार के मंत्री उसके घर आएंगे और भोजन भी करेंगे। उसने शिक्षा मंत्री श्री मदन दिलावर का साफा पहना कर स्वागत किया। मंत्री ने भी पूरे परिवार के साथ फ़ोटो खिंचवाई और रूपलाल की बेटियों को आशीर्वाद भी दिया। साथ ही कहा कि वह कोई भी आम समस्या के लिए उनसे संपर्क कर सकते हैं। रूपलाल ने भी कहा कि मंत्री श्री दिलावर के आगमन ने जब हमारे घर आकर भोजन किया और हमारे परिवार के साथ समय बिताया, तो यह हमारे लिए अविस्मरणीय पल बन गया। मंत्री द्वारा द्वारा उसके परिवार को दिया गया सम्मान और आशीर्वाद वे सदा याद रखेंगे। उसकी बेटियों को मंत्री ने जो आशीर्वाद दिया, वह उनके जीवन में प्रेरणा का स्रोत बनेगा।
पिपलांत्री में देखे पर्यावरण संरक्षण के कार्य
पिपलांत्री में शिक्षा मंत्री श्री मदन दिलावर ने पद्मश्री और पर्यावरणविद श्याम सुंदर पालीवाल द्वारा क्षेत्र में किए गए पर्यावरण संरक्षण के विभिन्न कार्यों को देखा और अभिभूत दिखे। यहाँ उन्होंने अखिल भारतीय वनवासी कल्याण आश्रम द्वारा आयोजित सम्मेलन में बतौर मुख्य अतिथि शिरकत की। संगठन के पदाधिकारियों द्वारा उनका स्वागत किया गया। मंत्री ने कहा कि अखिल भारतीय वनवासी कल्याण आश्रम का कार्य न केवल वनवासी समाज के लिए महत्वपूर्ण है, बल्कि यह पूरे देश के लिए प्रेरणास्रोत है। यह संस्था हमें यह सिखाती है कि समाज के सभी वर्गों के समग्र विकास के लिए एकजुट होकर कार्य करना कितना आवश्यक है। उनके समर्पण और निरंतर प्रयासों के लिए हम सब उनके प्रति आभार व्यक्त करते हैं। पर्यावरणविद श्याम सुंदर पालीवाल द्वारा ग्राम पंचायत में किए गए पर्यावरण संरक्षण के कार्यों और पिपलांत्री मॉडल पर विस्तार से प्रकाश डाला शिक्षा मंत्री श्री मदन दिलावर ने यहाँ पर्यावरण के लिए कार्य करने वाले कई व्यक्तियों को सम्मान भी प्रदान किया।
पर्यावरण संरक्षण की दिशा में मिसाल है पिपलांत्री
श्री दिलावर अपने उदभोदन में कहा कि पिपलांत्री पर्यावरण संरक्षण, सामुदायिक विकास, और महिला सशक्तिकरण के क्षेत्रों में एक मिसाल बन चुका है। आज पिपलांत्री गाँव में 3 लाख से अधिक पेड़ लगाए जा चुके हैं। इन पेड़ों के संरक्षण और देखभाल के लिए गाँव के सभी निवासियों ने मिलकर एक जिम्मेदारी ली है। इस पहल के कारण गाँव की हरियाली और जल स्तर में सुधार हुआ है। यहाँ की मिट्टी की गुणवत्ता भी बेहतर हो गई है, जिससे कृषि उत्पादकता में वृद्धि हुई है। उन्होंने कहा कि गाँव की महिलाओं को विभिन्न स्वरोजगार योजनाओं के माध्यम से आत्मनिर्भर बनाया गया है जो सराहनीय है। पिपलांत्री मॉडल हमें यह सिखाता है कि विकास और पर्यावरण संरक्षण साथ-साथ चल सकते हैं। यह गाँव न केवल राजस्थान, बल्कि पूरे देश के लिए एक प्रेरणास्रोत बन गया है। मंत्री ने कहा कि वे उम्मीद करते हैं कि हम सभी पिपलांत्री गाँव से प्रेरणा लेकर पूरे राज्य में लोग अपने-अपने क्षेत्रों में इसी तरह के सकारात्मक परिवर्तन लाने का प्रयास करेंगे।